प्रयागराज। अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष नरेन्द्र गिरि के मिले सुसाइड नोट में सम्मान को आघात लगने की बात का जिक्र किया गया है।
पुलिस महानिरीक्षक (प्रयागराज) केपी सिंह ने बताया कि प्रथम दृष्टया आत्महत्या का मामला लग रहा है। हत्या के बारे में पूछने पर उन्होंने कहा कि यह जांच का विषय है और पोस्टमार्टम के बाद ही कुछ कहा जा सकेगा। सुसाइड नोट में लिखा है- मैं सम्मान से रहा हूं। मेरा कोई अपमान करेगा, तब शायद मैं बर्दाश्त नहीं कर सकूंगा।
सिंह ने बताया कि वसीयत के रूप में सुसाइड नोट तैयार किया था। उनके सुसाइड नोट की फारेंसिक जांच की जा रही है। गिरिका सोसाइड नोट 6-7 पेज का है जो काफी मार्मिक है।
आश्रम के कुछ लोगों से दुखी थे : उन्होंने बताया कि गिरि आश्रम में कुछ लोगों से दुखी थे। जब पूछा गया कि किस शिष्य से उनके सम्मान को ठेस लगी है तब उन्होंने किसी भी शिष्य का नाम बताने से इंकार कर दिया। उन्होंने कहा कि यह जांच का विषय है। सिंह ने बताया कि रात होने के कारण अध्यक्ष नरेन्द्र गिरि के शव का पोस्टमार्टम कल कराया जाएगा। उन्होंने बताया कि प्रथम दृष्टया हत्या की बात नहीं लग रही है।
प्रयागराज में सोमवार को भारतीय अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष महंत नरेंद्र गिरि की संदिग्ध हालात में मौत हो गई। पुलिस के मुताबिक, उनका शव अल्लापुर में बाघंबरी गद्दी मठ के कमरे में फंदे से लटका मिला है। जांच-पड़ताल की जा रही है। पोस्टमार्टम के बाद ही घटना का कारण साफ हो पाएगा।
अंदर से बंद था दरवाजा : एडीजी (कानून-व्यवस्था) प्रशांत कुमार ने बताया कि मौके पर पहुंचे अधिकारियों के अनुसार गिरि ने जिस कमरे में सुसाइड किया है, वह दरवाजा बंद था। अनुयायियों की सूचना पर दरवाजा तोड़कर नरेन्द्र गिरि का शव निकाला गया।
नरेन्द्र गिरि के मौत के मामले में प्राथमिक तौर पर शिष्य आनंद गिरि और लेटे हनुमान मंदिर के मुख्य पुजारी आद्या तिवारी, उसके बेटे संदीप तिवारी का नाम सामने आ रहा है। इनके अलावा 4 और नाम भी संदिग्धों में शामिल हैं। इनमें नरेन्द्र गिरि के सुरक्षाकर्मी अजय सिंह, मनीष शुक्ला, अभिषेक मिश्रा और शिवेक मिश्रा का नाम शामिल है। इन पर नरेन्द्र गिरि के शिष्य आनंद गिरि ने आरोप लगाए हैं।