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6 हजार से ज्यादा अमीर छोड़ सकते हैं भारत, जानिए क्या है वजह

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, बुधवार, 14 जून 2023 (15:10 IST)
भारत में करोड़पति और अरबपतियों की संख्‍या में लगातार बढ़ रही है, लेकिन दूसरी तरफ ये रसूखदार लोग अपना वतन छोड़कर दूसरे देशों में जाकर नया ठिकाना बना रहे हैं। हेनली प्राइवेट वेल्थ माइग्रेशन की 2023 की रिपोर्ट के अनुसार, इस साल 6 हजार से ज्यादा अमीर लोग देश छोड़ सकते हैं। 
 
रिपोर्ट के मुताबिक दुबई और सिंगापुर अमीर भारतीय परिवारों के पसंदीदा स्थान बने हुए हैं। इसमें कहा गया है कि चीन के बाद भारत में विश्व स्तर पर सबसे अधिक करोड़पतियों का पलायन हो रहा है। 2022 में भी 8,000 अरबपति देश छोड़कर चले गए थे।
 
क्या है वजह : भारत में सबसे बड़ी वजह भारत में हर चीज के लिए लगने वाला टैक्‍स है, बता दें कि भारत में अमीरों पर टैक्‍स का भार ज्‍यादा है, जिससे अमीर लोग सालाना लाखों करोड़ों में टैक्‍स चुकाते हैं। भारत में कड़े होते टैक्स से जुड़े कायदे कानून, अमीरों को टैक्स में छूट न मिलने और वीजा फ्री टैवल की इच्छा के चलते बड़ी तादाद में अमीर भारत छोड़ रहे हैं।
 
वहीं दूसरी वजहों में बिजनेस की असुरक्षा को लेकर है। तीसरा लिविंग स्टैडर्ड है। भारत में अरबपति उस लिविंग स्टैडर्ड को फॉलो नहीं कर पा रहे, जो अमेरिका, इंग्लैंड और ऑस्ट्रेलिया, इटली में है। इनमें शिक्षा भी एक वजह है। बता दें कि भारत में रहने वाले कई अमीरों के बच्‍चे विदेशों में ही एजुकेशन ले रहे हैं। एक वजह स्वास्थ्य सेवाएं भी है। कई बीमारियों के लिए भारतीय अमीरों को यहां की स्‍वास्‍थ्‍य सेवाओं पर भरोसा नहीं है, वे विदेशों में जाकर ही अपना इलाज कराते हैं।
 
कौन हैं HNIs?
भारत में एचएनआई उन्हें कहते है, जिन लोगों के पास निवेश के लिए कम से कम 5 करोड़ रुपए हो। ऐसे लोग जिनका पैसा शेयर बाजार, बांड आदि में निवेश किया गया हो। इसके साथ ही जिनके डीमैट अकाउंट या बैंक खाते में कुल मिलाकर 5 करोड़ से ज्यादा रकम है। इस संपत्‍ति में घर और कार आदि शामिल नहीं किए जाते हैं। मान लीजिए कि अगर आपके पास गाड़ी, बंगला और फार्म हाउस हैं, जिनकी कीमत 10 करोड़ है, लेकिन निवेश करने के लिए 5 करोड़ से कम हैं तो उसे एचएनआई की कैटेगरी में नहीं माना जाएगा।

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