नई दिल्ली। भारतीय सेना ने म्यांमार की सेना के साथ मिलकर एक बड़े ऑपरेशन में एक उग्रवादी समूह के 10 शिविरों पर हमला कर उन्हें तबाह कर दिया।
ऑपरेशन सनराइज ने नाम से चलाए गए इस अभियान में भारतीय सेना ने म्यांमार में उग्रवादी संगठन, अराकान आर्मी को निशाना बनाया गया। यह अभियान 10 दिनों तक चला। अभियान के दौरान भारतीय सेना ने नगालैंड और मणिपुर से लगी सीमा के पास सुरक्षा बढ़ाई ताकि उग्रवादी भारत में नहीं घुस सकें।
भारतीय सेना ने म्यांमार को अभियान के लिए हार्डवेयर और उपकरण मुहैया कराए, जबकि इसने सीमा पर बड़ी संख्या में बलों को तैनात किया। सेना को इस बात की जानकारी मिली थी कि उग्रवादी कोलकाता को समुद्र मार्ग के जरिए म्यांमार के सितवे से जोड़ने वाली कालादान परियोजना में काम कर रहे लोगों को निशाना बना रहे हैं। यह परियोजना 2020 तक पूरी होने वाली है।
उल्लेखनीय है कि 9 मार्च को कर्नाटक के मंगलुरु में एक रैली को संबोधित करते हुए गृह मंत्री राजनाथ सिंह ने कहा था कि पांच साल में इंडियन आर्मी ने तीन बार अपनी सीमा से बाहर जाकर एयर स्ट्राइक की है। उन्होंने कहा था कि वे दो स्ट्राइक के बारे में ही जानकारी देंगे। गृह मंत्री ने तीसरी एयर स्ट्राइक के बारे में जानकारी देने से इनकार कर दिया था।