लखनऊ। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी शनिवार को उत्तर प्रदेश के एक दिवसीय दौरे पर जाएंगे और 'बुंदेलखंड एक्सप्रेस-वे' का उद्घाटन करेंगे।प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने फरवरी 2020 में इस एक्सप्रेस-वे की आधारशिला रखी थी।296 किलोमीटर लंबा बुंदेलखंड एक्सप्रेस-वे अब सिर्फ सफर को ही कम नहीं करेगा, बल्कि इस इलाके की तस्वीर भी बदल देगा।
आप को बता दें कि उत्तर प्रदेश एक्सप्रेस-वे औद्योगिक विकास प्राधिकरण (यूपीईआईडीए) के तत्वावधान में लगभग 14 हजार 850 करोड़ रुपए की लागत से 296 किलोमीटर, फोरलेन एक्सप्रेस-वे का निर्माण किया गया है और बाद में इसे छह लेन तक भी विस्तारित किया जा सकता है।
पिछड़ेपन के दाग से मुक्त होगा बुंदेलखंड : इसी के साथ दशकों से पिछड़ा बुंदेलखंड अब सीधे दिल्ली से जुड़ने वाला है। डीएनडी फ्लाइवे नौ किलोमीटर, नोएडा-ग्रेटर नोएडा एक्सप्रेस-वे 24 किलोमीटर, यमुना एक्सप्रेस-वे 165 किलोमीटर, आगरा-लखनऊ एक्सप्रेस-वे 135 किलोमीटर और बुंदेलखंड एक्सप्रेस-वे 296 किलोमीटर कुल 630 किलोमीटर की यात्रा दिल्ली से चित्रकूट तक निर्बाध गति से की जा सकेगी।
बुंदलेखंड एक्सप्रेस-वे लोगों को दिल्ली सहित अन्य राज्यों से भी जोड़ेगा। इससे चित्रकूट, बांदा, महोबा, हमीरपुर, जालौन, औरैया और इटावा आदि जिलों के लोग लाभान्वित होंगे। देश में प्रधानमंत्री मोदी और उत्तर प्रदेश में सीएम योगी सरकार आने के बाद से बुंदेलखंड का तेजी से विकास हुआ है। इस एक्सप्रेस-वे से बुंदेलखंड के सीधा दिल्ली से जुड़ने का लाभ लोगों को मिलेगा और पिछड़ेपन के दाग से बुंदेलखंड मुक्त हो सकेगा।
इन इलाकों को मिलेगा फायदा : यह एक्सप्रेस-वे चित्रकूट जिले में भरतकूप के पास गोंडा गांव में एनएच-35 से इटावा जिले के कुदरैल गांव तक फैला हुआ है, जहां यह आगरा-लखनऊ एक्सप्रेस-वे के साथ मिल जाता है। यह सात जिलों चित्रकूट, बांदा, महोबा, हमीरपुर, जालौन, औरैया और इटावा से होकर गुजरता है।