Nitish Kumar news in hindi : बिहार में राजनीतिक सरगर्मी के बीच राजद ने शुक्रवार को राज्य के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार से भ्रम को दूर करने का आग्रह किया जिसका असर राज्य में सत्तारूढ़ महागठबंधन पर पड़ रहा है। इस बीच बिहार के पूर्व मुख्यामंत्री जीतनराम ने दावा किया कि नीतीश कुमार जल्द ही राजग में शामिल हो सकते हैं।
राजद के राष्ट्रीय प्रवक्ता एवं राज्यसभा सदस्य मनोज कुमार झा ने कहा कि उन्हें उम्मीद है कि जदयू प्रमुख नीतीश कुमार इन अफवाहों के बीच स्थिति स्पष्ट करें कि वह भाजपा के नेतृत्व वाले राजग में वापस जाने की योजना बना रहे हैं।
उन्होंने कहा कि हमने लोगों के कल्याण के लिए और भाजपा को हराने के लिए मिलकर सरकार बनायी है। व्याप्त भ्रम बिहार में जनजीवन को प्रभावित कर रहा है। केवल मुख्यमंत्री ही भ्रम को दूर कर सकते हैं। हमें उम्मीद है कि वह आज शाम तक ऐसा करेंगे।
इस बीच पटना के 10 सर्कुलर रोड स्थित राष्ट्रीय जनता दल (राजद) अध्यक्ष लालू प्रसाद की पत्नी राबड़ी देवी के सरकारी बंगले पर राजद के वरिष्ठ नेताओं का आना-जाना बढ़ गया है।
राजद सूत्रों ने कहा कि हमारे साथ नीतीश कुमार ने जो कई साल पहले किया था, वह वैसा दोबारा न कर सकें, इसके लिए हमने कई साल पहले योजना बनायी थी। हमारी पार्टी महागठबंधन का नेतृत्व करती है जो 243 सीटों वाली बिहार विधानसभा में बहुमत के आवश्यक संख्या से केवल 20 कम है। विधानसभा अध्यक्ष हमारी पार्टी के हैं, इसलिए हम संख्या बल जुटा लेंगे।
जल्द ही राजग में लौटेंगे नीतीश कुमार : इस बीच हिंदुस्तानी अवाम मोर्चा के नेता जीतन राम मांझी ने कहा कि बिहार के मुख्यमंत्री एवं जदयू प्रमुख नीतीश कुमार जल्द ही भाजपा के नेतृत्व वाले राजग में लौटेंगे। नीतीश कुमार के राजग से हाथ मिलाने के समय के बारे में पूछे जाने पर मांझी ने कहा कि यह किसी भी क्षण हो सकता है।
गणतंत्र दिवस के अवसर पर पटना स्थित राजभवन में शुक्रवार को आयोजित जलपान समारोह में बिहार के उपमुख्यमंत्री तेजस्वी यादव के शामिल नहीं पहुंचने के कारण के बारे में पूछे जाने पर मांझी ने कहा कि मैं इस पर कैसे टिप्पणी कर सकता हूं। आप लोग उनसे इसका कारण पूछें।
सुशील कुमार मोदी का बड़ा बयान : इससे पहले दिन में, भाजपा नेता सुशील कुमार मोदी ने कहा कि राजनीति में किसी के लिए दरवाजे कभी भी स्थायी रूप से बंद नहीं होते हैं।
उन्होंने संवाददाताओं से कहा, जहां तक कुमार या जद (यू) का सवाल है, राजनीति में दरवाजे कभी भी स्थायी रूप से बंद नहीं होते हैं। बंद दरवाजे समय आने पर खुलते भी हैं, लेकिन वे खुलेंगे या नहीं, यह हमारे केंद्रीय नेतृत्व को तय करना है।
राज्य में बदलते राजनीतिक घटनाक्रम के बीच भाजपा बिहार में अपने सहयोगियों के साथ संपर्क बनाए हुए है, जिनमें मांझी, चिराग पासवान, उपेन्द्र कुशवाहा और केंद्रीय मंत्री पशुपति कुमार पारस शामिल हैं। मांझी की पार्टी के चार विधायक हैं, जो राज्य में सत्ता संतुलन में अहम भूमिका निभा सकते हैं।
क्या बोले चिराग पासवान : बिहार में राजनीतिक अनिश्चितता के बीच लोक जनशक्ति पार्टी के पूर्व अध्यक्ष चिराग पासवान ने शुक्रवार को खुलासा किया कि वह स्वयं भाजपा के 'शीर्ष नेतृत्व के साथ लगातार संपर्क' में हैं और इस सवाल को कि राजग के नए साझेदार के रूप में क्या मुख्यमंत्री नीतीश कुमार उन्हें स्वीकार्य होंगे, काल्पनिक करार दिया।
लोक जनशक्ति पार्टी (रामविलास) के प्रमुख पासवान ने कहा, हमारी पार्टी बिहार में राजग की प्रतिबद्ध सहयोगी है। इसलिए हम राज्य की स्थिति पर नजर रख रहे हैं जहां अगले दो या तीन दिन महत्वपूर्ण हो सकते हैं। भाजपा गठबंधन का सबसे बड़ा घटक दल है और मेरे संपर्क में है। हम दिल्ली में और बातचीत करेंगे।
उल्लेखनीय है कि नीतीश कुमार ने 2017 में राजद-कांग्रेस वाले महागठबंधन को छोड़ भाजपा के साथ सरकार बना ली थी और अगस्त, 2022 में भाजपा पर जदयू में फूट डालने की कोशिश करने का आरोप लगाते हुए उससे नाता तोड़कर भाजपा विरोधी महागठबंधन में शामिल हो गए थे।
Edited by : Nrapendra Gupta