समाजसेवा में गहरी रुचि रखने वाले गहलोत ने तरुण शान्ति सेना द्वारा सेवाग्राम, वर्धा, औरंगाबाद, इन्दौर तथा अनेक जगहों पर आयोजित शिविरों में सक्रिय रूप से कार्य किया तथा कच्ची बस्ती और झुग्गी क्षेत्रों के विकास के लिए अपनी सेवाएं दीं। वे अपने समय में लोकसभा के लिए चुने जाने वाले देश के सबसे युवा सांसद भी रहे।