महाकुंभ में दिव्यांगों को मुफ्त मिल रहे कृत्रिम अंग, उपचार की भी सुविधा
विभिन्न धार्मिक समूहों के शिविरों के बीच दिव्यांगों को राहत पहुंचाने के मकसद से काम करने वाली जयपुर की धर्मार्थ संस्था नरवन सेवा संस्थान (Narvan Seva Sansthan) ने भी यहां एक शिविर लगाया है
Free prosthetic limbs for the disabled at Maha Kumbh: महाकुंभ (Maha Kumbh) के लिए जहां भारी संख्या में श्रद्धालु प्रयागराज (Prayagraj) में उमड़ रहे हैं वहीं कई दिव्यांग (disabled) लोग मुफ्त इलाज और कृत्रिम अंगों के प्रत्यारोपण के लिए भी यहां पहुंच रहे हैं। विभिन्न धार्मिक समूहों के शिविरों के बीच दिव्यांगों को राहत पहुंचाने के मकसद से काम करने वाली जयपुर की धर्मार्थ संस्था नरवन सेवा संस्थान (Narvan Seva Sansthan) ने भी यहां एक शिविर लगाया है।
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टीम दिव्यांगों के लिए कृत्रिम अंगों का माप ले रही : शिविर में चिकित्सक यहां आने वाले 'दिव्यांगों' की देखभाल में व्यस्त हैं और एक टीम उन दिव्यांगों के लिए कृत्रिम अंगों का माप ले रही है। इस संस्थान को पोलियो प्रभावित मरीजों के उपचार और उनके पुनर्वास संबंधी परोपकारी सेवाओं के लिए भी जाना जाता है।
महाकुंभ मेले में कृत्रिम अंग मुफ्त में उपलब्ध : उत्तरप्रदेश के बलिया निवासी जयशंकर कुमार के दोनों पैर 2 साल पहले गंभीर संक्रमण के कारण काटने पड़े थे और अब वे नई उम्मीद के साथ महाकुंभ पहुंचे हैं। उन्होंने कहा कि अपने दोनों पैर खोने के बाद मैं बैसाखी के सहारे चलता हूं। चिकित्सकों ने सुझाव दिया कि मैं कृत्रिम अंग लगा सकता हूं, लेकिन वे महंगे हैं और मैं उनका खर्च नहीं उठा सकता। जब हमें पता चला कि ये अंग यहां मुफ्त में उपलब्ध होंगे तो मैंने अपने परिवार के साथ कुंभ जाने का फैसला किया। हम यहां स्नान भी करेंगे।
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उन्होंने कहा कि मुझे 10 दिन तक इंतजार करने को कहा गया है और उसके बाद अंग लगा दिए जाएंगे। तब तक मैं 'फिजियोथैरेपी' ले रहा हूं, जो शिविर में मुफ्त में दी जा रही है। महाकुंभ, हर 12 साल में आयोजित होने वाला बड़ा धार्मिक आयोजन है, जो 13 जनवरी से प्रयागराज में शुरू हो चुका है और 45 दिनों तक चलेगा। अब तक 8 करोड़ से अधिक श्रद्धालु संगम में डुबकी लगा चुके हैं।
शिविर के 'प्रोस्थेटिक ऑर्थोपेडिक' विशेषज्ञ क्रुणाल चौधरी के अनुसार कुंभ में चिकित्सकों, 'फिजियोथैरेपी' विशेषज्ञों, 'प्रोस्थेटिक्स' विशेषज्ञों, तकनीशियनों के साथ 'फैब्रिकेशन' दल सहित 50 लोगों की एक टीम तैनात की गई है।(भाषा)
Edited by: Ravindra Gupta