बेंगलुरु। सत्तारूढ़ भाजपा ने शुक्रवार को कर्नाटक में राज्यसभा के लिए 4 सीटों पर हुए चुनाव में वे सभी 3 सीट जीत लीं, जिन पर इसने अपने उम्मीदवार खड़े किए थे। दूसरी ओर कांग्रेस के खाते में केवल एक सीट आई जिसने 2 सीट पर अपने उम्मीदवार खड़े किए थे। हालांकि महाराष्ट्र और हरियाणा में मतगणना अभी रूकी हुई है।
जद (एस) एक भी सीट नहीं जीत पाया जिसने पर्याप्त वोट न होने के बावजूद अपना एक उम्मीदवार खड़ा किया था। कांग्रेस ने धर्मनिरपेक्षता के नाम पर समर्थन के जद (एस) के अनुरोध को स्वीकार नहीं किया। मतगणना के बाद चुनाव अधिकारियों ने भाजपा नेता एवं केंद्रीय वित्तमंत्री निर्मला सीतारमण, अभिनेता-नेता जग्गेश और निवर्तमान विधान पार्षद लहर सिंह सिरोया तथा कांग्रेस के नेता एवं पूर्व केंद्रीय मंत्री जयराम रमेश को विजयी घोषित किया।
सीतारमण और रमेश को कर्नाटक से संसद के उच्च सदन के लिए फिर से चुना गया, जिसके लिए विधानसभा के सदस्य (विधायक) मतदाता थे। चौथी सीट के लिए चुनाव परिणाम को लेकर रहस्य बना हुआ था, जिसमें तीनों राजनीतिक दलों के बीच कड़ी टक्कर देखी गई जिन्होंने जीतने के लिए पर्याप्त संख्या में वोट नहीं होने के बावजूद अपने उम्मीदवार खड़े किए थे और इस तरह चुनाव के लिए मजबूर होना पड़ा।
कर्नाटक से चार सीट के लिए राज्यसभा चुनाव में कुल छह उम्मीदवार मैदान में थे, जिससे चौथे उम्मीदवार के लिए मुकाबला जरूरी हो गया। चौथी सीट के लिए लड़ाई में सिरोया (भाजपा के तीसरे उम्मीदवार), मंसूर अली खान (कांग्रेस के दूसरे उम्मीदवार) और डी कुपेंद्र रेड्डी (जेडीएस के एकमात्र उम्मीदवार) के बीच सीधा मुकाबला देखा गया।
राज्यसभा की चार सीट के लिए चुनाव कराना जरूरी था क्योंकि संबंधित सदस्यों-भाजपा की निर्मला सीतारमण और केसी राममूर्ति तथा कांग्रेस के जयराम रमेश का कार्यकाल 30 जून को समाप्त हो रहा है। चौथे सदस्य कांग्रेस के ऑस्कर फर्नांडिस का पिछले साल निधन हो गया था।(भाषा)