तमिल फिल्मों के सुपर सितारे कमल हासन ने राज्य में अपनी नई पार्टी बनाने के संकेत दिए दिए हैं। लेकिन उन्होंने यह भी कहा कि 'भगवा रंग उनकी पसंद नहीं है।' विदित हो कि उन्होंने शुक्रवार को केरल के मुख्यमंत्री पिनराई विजयन से मुलाकात करते हुए अपने वामपंथी रुझान को दर्शा दिया।
जब उनसे भाजपा को लेकर उनके रुख को लेकर सवाल पूछे गए तो इसके जवाब में उनका कहना था कि ' पिछले 40 वर्षों से आप मेरा रंग देख रहे हैं। यह तय है कि यह रंग भगवा नहीं है। फिलहाल मैं केवल इतना ही कह सकता हूं कि मुझे बीच का रास्ता चुनना है।'
तमिलनाडु की सत्ताधारी पार्टी-अन्नाद्रुमुक- में जारी अंर्तकलह के सवाल पर उनका कहना था कि 'इसमें तमिलनाडु के राज्यपाल को दखल देना चाहिए था। मैं यह ड्रामा नहीं देखना चाहता हूं। मैं इस मामले में विधानसभा के सदन में बहुमत का फैसने को कहने वाला या राज्यपाल से इस मुद्दे पर बात करने वाला कोई व्यक्ति नहीं होता हूं। लेकिन मैं इस मंच का इस्तेमाल इसके लिए कर रहा हूं।'
उल्लेखनीय है कि तमिलनाडु में अन्नाद्रुमुक में गद्दी पाने के लिए दो गुटों के बीच रस्साकशी जारी है और इस दौड़ में किनारे लगा दिए नेता टीटीवी दिनाकरण भी शामिल हैं। उन्होंने मुख्यमंत्री पलानीस्वामी और उप मुख्यमंत्री ओ. पन्नीरसेल्वम के गुटों के बीच विलय के खिलाफ भी मोर्चा खोल दिया है।
विजयन के साथ बातचीत के बाद उन्होंने कहा कि केरल के मुख्यमंत्री से बातचीत में अपने कुछ संशयों को दूर किया है लेकिन इस बारे में उन्होंने मीडिया में अधिक जानकारी देने से इनकार कर दिया और कहा कि वे नई पार्टी को लेकर मीडिया से कोई चर्चा नहीं करेंगे।
कमल हासन का कहना था, 'मैं इस संबंध में केवल घोषणा करूंगा और फिलहाल किसी तरह की चर्चा नहीं करूंगा। इस मामले में मैं केरल के मुख्यमंत्री से बात कर चुका हूं और उनके अनुभव मेरे लिए बहुत महत्वपूर्ण हैं। पार्टी संबंधी कोई घोषणा करने से पहले में मैं अन्य लोगों से भी इस बारे में बातचीत करूंगा।'
पर उन्होंने यह भी साफ किया कि उनका झुकाव डीएमके या किसी और पार्टी की ओर नहीं है। इसलिए वे बीच का रास्ता चुनकर लोगों के लिए काम करना चाहेंगे। विजयन के साथ बातचीत को लेकर उनका कहना था कि उन्होंने ऐसी कोई चर्चा नहीं की है जिससे कि मीडिया में सनसनीखेज खबर बन सके।
विदित हो कि केरल के सीएम से मुलाकात के बाद कमल हासन ने फेसबुक पर पोस्ट भी किया कि उन्होंने पी. विजयन के साथ तमिलनाडु और दक्षिण भारत की राजनीति पर चर्चा की। वहीं इस विजयन का कहना था कि हासन जब भी केरल आते हैं तो वे उनसे जरूर मिलते हैं।' लेकिन विजयन के मुख्यमंत्री बनने के बाद हासन पहली बार केरल पहुंचे थे।
कमल हासन के इस फैसले में भगवा खेमे में थोड़ी खलबली जरूर मचा दी है क्योंकि उनकी इस सक्रियता के चलते अन्नाद्रुमुक का दूसरा धड़ा भी सक्रिय हो गया है और राज्य के राज्यपाल पर भेदभाव करने का आरोप लगने लगे हैं। (एजेंसी)