श्रीनगर। लेह जिले के खरदुंग ला दर्रे के इलाके में शुक्रवार को एक टिप्पर के हिमस्खलन की चपेट में आने से सेना के 10 पोर्टरों की मौत हो गई। सभी के शव बरामद कर लिए गए हैं। बचाव कार्य में हेलीकॉप्टर की भी मदद ली गई। लेह की एसएसपी सरगुन शुक्ला ने बताया कि रेसक्यू ऑपरेशन खत्म हो चुका है। वहीं, राज्य सरकार ने मारे गए पोर्टरों के परिवार वालों के लिए 5 लाख रुपए राहत राशि देने का एलान किया है।
सेना के एक अधिकारी ने बताया कि खरदुंग ला दर्रे से दक्षिण पुललू के पास दो ट्रक और 10 लोग करीब 20 फुट नीचे हिमस्खलन में दब गए थे। सूचना पर सेना की टुकड़ी कल पौने आठ बजे मौके पर पहुंची। इसके तुरंत बाद सेना की फायर एंड फ्यूरी कोर ने अपने सभी संसाधनों को सक्रिय कर दिया और सर्च व रेसक्यू ऑपरेशन शुरू कर दिया।
हेलीकॉप्टरों के जरिये सियाचिन बेस कैंप से आधुनिक उपकरणों से लैस सेना की विशेष एवलांच रेसक्यू पैंथर्स टीम को भी घटनास्थल पर पहुंचाया गया था। हेलीकॉप्टरों की मदद से डीप सर्च रडार भी मौके पर पहुंचाए गए।
इसके अलावा डॉक्टर, नर्सिंग असिस्टेंट की टीम, कंबल और गरम कपड़े जैसी जरूरत की चीजें भी मौके पर पहुंचाई गई। फायर एंड फ्यूरी कोर के जीओसी लेफ्टिनेंट जनरल वाईके जोशी ने ऑपरेशन का हवाई निरीक्षण किया और प्रशासन को हर संभव मदद का आश्वासन दिलाया। शुक्रवार शाम को बचाव कार्य रोक दिया गया था और शनिवार सुबह दोबारा बचाव कार्य शुरू किया गया था।