10 जून 2021 गुरुवार को ज्योतिष की दृष्टि में वर्ष का पहला कंकणाकृति सूर्यग्रहण (Solar Eclipse 2021) होने जा रहा है। हिन्दू माह अनुसार ज्येष्ठ माह की अमावस्या को यह सूर्य ग्रहण होगा। ज्योतिष मान्यता के अनुसार सूर्य ग्रहण के लगने से 12 घंटे पूर्व ही सूतक काल लग जाता है। हालांकि यह सूर्य ग्रहण भारत में नहीं दिखाई देगा। फिर भी इसका असर तो संपूर्ण धरती पर ही होगा। ऐसे में आप 5 तरह की सावधानी रख सकते हैं।
1. ग्रहण का सूतक काल मान्य हो या नहीं हो परंतु गर्भवती महिलाओं को घर से बाहर नहीं निकलना चाहिए और ग्रहण समाप्त हो जाए तब स्नान करके शुद्धि करना चाहिए। ऐसा नहीं करने से शिशु को त्वचा संबंधी परेशानियां आ सकती हैं।
2. ऐसी मान्यता है कि सूर्य ग्रहण के दौरान जल पर इसका असर होता है इसीलिए जल में तुलसी का पत्ता डालकर उसे शुद्ध कर लिया जाए तो सही है।
3. हो सके तो ग्रहण के दौरान भोजन ग्रहण ना करें तो बेहतर है। ग्रहण समाप्त होने के बाद ही भोजन में तुलसी डालकर ही उसे ग्रहण करें। कहते हैं कि ग्रहण के दौरान पाचन शक्ति कमजोर और जठराग्नि मंद पड़ जाती है।
4. कहते हैं कि ग्रहण के दौरान व्यक्ति सुस्त या थका हुआ महसूस करता है। यह भी कहा जाता है कि ग्रहण के दौरान संवेदनशील या भावुक व्यक्ति और भी भावुक या संवेदनशील हो जाते हैं। यह हमारी भावनाओं पर असर करता है और नकारात्मक भावों को जन्म देता है। अत: इस बात में सावधानी रखें। सकारात्मक भजन या गीत सुनें।
5. ग्रहण खत्म होने के बाद घर की सफाई इसीलिए की जाती है कि यदि कहीं पर ग्रहण का असर हो तो वह समाप्त हो जाए। भले ही इस ग्रहण का सूतककाल मान्य नहीं हो फिर भी घर की साफ सफाई करने में क्या हर्ज है।