चांद की सतह पर लैंडिंग से पहले ISRO का चंद्रयान 2 के लैंडर विक्रम से संपर्क टूट गया था। लेकिन, जैसे ही रविवार को ISRO चीफ के सिवन ने बताया कि ऑर्बिटर की मदद से चांद की सतह पर विक्रम लैंडर के लोकेशन का पता चल चुका है, तो भारतीयों को उम्मीद जागी कि लैंडर विक्रम से संपर्क फिर से स्थापित हो सकता है।
इसी उत्साह में कई लोगों ने VikramLanderFound हैशटैग के साथ कुछ तस्वीरें शेयर कर दीं। लोग इन तस्वीरों को ISRO चीफ द्वारा जारी किए जाने का भी दावा कर रहे हैं। देखते ही देखते ट्विटर पर ये तस्वीरें ट्रेंड करने लगीं।
क्या है इन तस्वीरों का सच?
ये सभी तस्वीरें विक्रम लैंडर की नहीं हैं। स्पेस जर्नलिस्ट जोनाथन ने ट्वीट कर बताया कि विक्रम लैंडर की जो तस्वीर सोशल मीडिया पर शेयर की जा रही है, वह अपोलो 15 लूनर लैंडिंग साइट की तस्वीर है।
आपको बता दें कि जो तस्वीर ऑर्बिटर के द्वारा ली गई है वो थर्मल इमेज है, न कि कोई नॉर्मल इमेज है। जो तस्वीरें वायरल हो रही हैं, वो नार्मल इमेज हैं।
वायरल तस्वीरों को रिवर्स इमेज सर्च करने पर भी पता चलता है कि ये अपोलो 15 लूनर लैंडिंग साइट की तस्वीर है।
इसरो के मुताबिक, अब दूसरी तस्वीर आर्बिटर पहली तस्वीर से तीन दिन बाद ही ले पाएगा, जब वो एक निश्चित लोकेशन पर आएगा।
चंद्रयान 2 को लेकर इसरो का आज भी एक बड़ा बयान आया है। इसरो ने कहा कि लैंडर विक्रम टूटा नहीं है, वह पूरी तरह सुरक्षित। लैंडर से संपर्क करने की कोशिशें की जा रही हैं।
वेबदुनिया की पड़ताल में पाया गया कि वायरल हो रही तस्वीर अपोलो 15 लूनर लैंडिंग साइट की तस्वीर है, न कि चंद्रयान-2 के विक्रम लैंडर की।