हर हर हर महादेव हरे

- कैलाशप्रसाद यादव 'सनातन'

Webdunia

नंदीगण नतमस्तक सन्मुख, नीलकंठ पर शोभित विषधर,

मूषक संग गजानन बैठे, कार्तिकेय संग मोर खड़े॥

सत्य ही शिव है, शिव ही सुंदर, सुंदरता चहुंओर भरे,

अंतर्मन से तुझे पुकारूं, हर हर हर महादेव हरे॥

पीड़ित जन हम युगों-युगों से, आकर तेरे द्वार खड़े,

जितना भोला मुख मंडल है, उतना तीखा भाला है।

असुरों को बींधा हर युग में, मुख पर विष का प्याला है॥

सुना है तूने राम-कृष्ण के, उतर धरा दुःख दर्द हरे,

सत्य ही शिव है, शिव ही सुंदर, सुंदरता चहुं ओर भरे,

अंतर्मन से तुझे पुकारूं, हर हर हर महादेव हरे॥

जन-जन के हृदय में बसे हो, पशु-पक्षी के प्राणनाथ हो,

शत-शत नमन्‌ त्रिलोकी तुमको, जय जय जय पशुपतिनाथ हरे।

सत्य ही शिव है, शिव ही सुंदर, सुंदरता चहुंओर भरे,

अंतर्मन से तुझे पुकारूं, हर हर हर महादेव हरे॥

Show comments
सभी देखें

ज़रूर पढ़ें

लाल किताब के अनुसार मंगल दोष से बचने के 10 अचूक उपाय, फिर निश्चिंत होकर करें विवाह

क्या आप जानते हैं चातुर्मास के समय क्यों योग निद्रा में चले जाते हैं भगवान विष्णु, नहीं होते मांगलिक कार्य

क्या फिर कहर बरपाएगा कोरोना, क्या है जापानी बाबा वेंगा की भविष्यवाणी

शीघ्र विवाह बंधन में बंधना चाहते हैं आजमाएं ये 5 प्रभावी उपाय

मांगलिक दोष शुभ या अशुभ, जानें इसके फायदे और ज्योतिषीय उपाय

सभी देखें

धर्म संसार

मुहम्मद बिन क़ासिम से इस तरह लड़े थे वीर सिंधु सम्राट दाहिर सेन, लेकिन हुआ धोखा

Saptahik Muhurat: नए सप्ताह के मंगलमयी मुहूर्त, जानें साप्ताहिक पंचांग 16 से 22 जून

Aaj Ka Rashifal: आज किसी खास व्यक्ति से होगी मुलाकात, चमकेंगे सितारे, पढ़ें 15 जून का राशिफल

15 जून 2025 : आपका जन्मदिन

एयर इंडिया विमान हादसे का क्या कनेक्शन है जगन्नाथ मंदिर और अच्युतानंद महाराज की गादी से