स्पष्टवादी होते हैं शतभिषा नक्षत्र के जातक

शतभिषा नक्षत्र : जानिए अपना व्यक्तित्व

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ज्योतिष शास्त्र में समस्त आकाश मंडल को 27 भागों में विभक्त कर प्रत्येक भाग का नाम एक-एक नक्षत्र रखा गया है। सूक्ष्मता से समझाने के लिए प्रत्येक नक्षत्र के चार भाग किए गए हैं जो चरण कहलाते हैं। अभिजित को 28वां नक्षत्र माना गया है और इसका स्वामी ब्रह्मा को कहा गया है। आइए जानते हैं शतभिषा नक्षत्र में जन्मे जातक कैसे होते हैं?

शतभिषा नक्षत्र में जन्म होने से जातक साहसी, दाता, कठोर चित्त, चतुर, अल्पभोजी तथा कालज्ञ होता है। मतांतर से ऐसा जातक स्पष्ट बोलने वाला, व्यसनयुक्त, बिना विचारे काम करने वाला, किसी के वश में न होने वाला तथा शत्रुओं को जीतने वाला होता है।

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यह जातक कृपण, परस्त्रीगामी तथा विदेश में रहने की कामना करने वाला होता है।

शतभिषा नक्षत्र में जन्म होने से जातक समझदार, तेज मिजाज, स्वतंत्र मौलिक कार्य करने वाला, धैर्यशाली, अतिवादी, अध्यवसायी, दृढ़वर्ती, अकर्मण्यता का शिकार, आलसी, वैज्ञानिक तथा तकनीकी कार्यों में अभिरूचि रखने वाला, उग्र मनोवृत्ति और महत्‌ कार्यों द्वारा प्रशंसित, छिंद्रान्वेषी तथा बिना सोच विचार कर कार्य करने वाला होता है।

ऐसा जातक महत्वाकांक्षी, सात्विक जीवन जीने वाला सदाचारी, साधु संतों का प्रेमी तथा धार्मिक होता है।

शतभिषा नक्षत्र में जन्म होने पर जन्म राशि कुंभ तथा राशि का स्वामी शनि, वर्ण शूद्र वश्य नर, योनि अश्व, महावैर योनि महिष, गण राक्षस तथा नाड़ी आदि है।

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