मन में काम करने की इच्छाशक्ति हो तो शासन की मदद के बिना स्वावलंबी बना जा सकता है। स्थानीय साधनों एवं जनभागीदारी से भी गाँवों का विकास संभव है। इस सम्मेलन का उद्देश्य ही शासन की मदद के बिना विकास में सहभागी बनना है।
यह बात मप्र जन अभियान परिषद के उपाध्यक्ष प्रदीप पांडेय ने मंगलवार को बदनावर में कही। वे स्थानीय मंडी प्रांगण में प्रदेश के पहले ग्रामोदय सम्मेलन को मुख्य अतिथि के रूप में संबोधित रहे थे। उन्होंने आगे आगे भी ऐसे सम्मेलन आयोजित होंगे। जन अभियान विकास परिषद द्वारा आयोजित सम्मेलन की अध्यक्षता स्वयंसेवी संगठन सहयोग के अध्यक्ष मनोज सोमानी ने की। अतिथियों का स्वागत शेखर, यादव, बाबूलाल जाट, अंबाराम पाटीदार, परमानंद सिर्वी, सुनील सेन ने किया। परिषद के संभागीय समन्वयक शिवप्रसाद मालवीय ने शिक्षा, स्वास्थ्य, पर्यावरण, जल संरक्षण आदि क्षेत्र में सहभागिता से विकास के अवसर बताए। रामगोपाल वर्मा ने जैविक खेती के गुर सिखाए।
उज्जैन के संभागीय समन्वयक वरुण आचार्य, जिला जन अभियान के उपाध्यक्ष अशोक जैन, जिला समन्वयक महेंद्रपाल भाटी आदि ने भी संबोधित किया। सम्मेलन में क्षेत्र की 30 गाँव विकास प्रस्फुटन समितियों के पदाधिकारी एवं सदस्यों ने भाग लिया। सदस्यों द्वारा शासन के सहयोग के बिना किए गए कार्यों की प्रदर्शनी भी लगाई गई।
20 लोगों का सम्मान
कार्यक्रम में पौधारोपण, जल संरक्षण, स्वच्छता, जनभागीदारी आदि क्षेत्र में उल्लेखनीय कार्य करने वाले 20 लोगों का सम्मान किया गया। इनमें सनत कुमार बैरागी (संदला), गेंदालाल सिर्वी (भुवानीखेड़ा), नंदराम गिरवाल (लिलिखेड़ी), माधुरी वैष्णव (मुंगेला), विश्राम साल्वी (कंकराज), नंदराम धन्नाालाल (मौसार) आदि शामिल हैं। संचालन नवीन चौहान ने किया। मधु चौहान ने आभार माना। -निप्र