जापानी महिलाओं का क्रांतिकारी कदम

Webdunia
मंगलवार, 15 फ़रवरी 2011 (11:27 IST)
जापानी नागरिकों के एक समूह ने देश के उस कानून को चुनौती दी है, जिसमें महिलाओं को शादी के बाद अपना उपनाम बदलना होता है।

करीब 113 साल पुराने इस कानून के तहत शादीशुदा जोड़ों को शादी के बाद कोई एक उपनाम चुनना होता है, परंपरानुसार सामान्यत: पुरुष का ही होता है। मुकदमे में आरोप लगाया गया है कि कानून देश में महिलाओं के संवैधानिक समानता के अधिकारों का हनन करता है।

चार महिलाओं तथा उनमें से एक के जोड़ीदार सहित पा ँच लोगों ने सरकार से अपनी परेशानियों के लिए साठ लाख येन (70 हजार अमेरिकी डॉलर) की माँग की है और स्थानीय सरकारी कार्यालयों से उनके अलग-अलग उपनाम के सर्टिफिकेट देने को कहा है।

उनका तथा उनके समर्थकों का कहना है कि यह मुकदमा उपनाम संबंधी कानून को चुनौती देने वाला पहला मामला है। साथ ही यह प्रधानमंत्री नाओतो कान के लिए भी चुनौती है, क्यों कि उन्होंने शादीशुदा जोड़ों को अलग-अलग उपनाम रखने की इजाजत देने के लिए कानून में बदलाव का वादा किया था। (भाषा)
Show comments

जरूर पढ़ें

ऑपरेशन सिंदूर और 'उधार का चाकू', क्या है चालबाज चीन का इससे संबंध

सेनेटरी पैड के पैकेट पर राहुल गांधी ने लगवा दी अपनी तस्वीर, बीजेपी ने कर दिया कबाड़ा

पलक्कड़ में Nipah Virus की पुष्टि, लॉकडाउन जैसे हालात, केरल में अलर्ट जारी

कौन है गैंगस्टर अमित दबंग, जिसे शादी के लिए मिली 5 घंटे की पैरोल

प्रधानमंत्री मोदी को त्रिनिदाद एवं टोबैगो का सर्वोच्च नागरिक सम्मान

सभी देखें

नवीनतम

पटना में उद्योगपति गोपाल खेमका की हत्या से हड़कंप, क्लब से लौटते ही हमलावरों ने मारी गोली

LIVE: 5 देशों की यात्रा के तीसरे चरण में अर्जेंटीना पहुंचे पीएम मोदी

Indore Metro कॉरिडोर पर ट्रॉली का हुआ ट्रायल, प्रबंध संचालक ने किया निरीक्षण

शिवराज सिंह बोले- महिलाओं को होगी सालाना 10 लाख से ज्‍यादा की आय, सरकार बनाएगी आर्थिक रूप से सशक्त

भारत-ईएफटीए व्यापार समझौता कब होगा लागू, मंत्री पीयूष गोयल ने दिया यह जवाब