ग्रहण के समय मकर लग्न मेष नवांश व तुला राशि है। स्वाति नक्षत्र गुरुवार-शुक्रवार की रात्रि में होने से भारत की राजनीति पर गहरा प्रभाव पड़ेगा। दशम भाव में वक्री शनि के साथ राहु व चंद्र आगामी समय के लिए अच्छा नहीं है।
इन पर मंगल, सूर्य, शुक्र, केतु की भी नजर है और इन चार ग्रहों पर भी शनि, राहु व चंद्र की नजर है। इस कारण पल-पल राजनीति में बदलाव की स्थिति बनेगी। राजनेता लोगों की मानसिक स्थिति भी कुछ भ्रम की रहेगी, एक निर्णय का अभाव देखने को मिलेगा। जनता भी असमंजस में रहेगी।
चुनावी समर में चौंकाने वाले परिणाम नजर आएंगे। सत्ता पक्ष को भारी नुकसान उठाना पड़ सकता है। राज्यों के चुनाव भी चौंकाने वाले परिणाम देंगे। शनि-मंगल का दृष्टि संबंध भी भारत की जनता के लिए कुछ ठीक नहीं रहेगा। कहीं दुर्घटना के योग भी बन सकते हैं। सूर्य-शनि का समसप्तक योग भी प्रजा व राजा के लिए ठीक नहीं रहेगा। आगे प्रभु इच्छा।