Shani ki vakri chal 2023 : वर्तमान समय में शनि अपनी खुद की कुंभ राशि में गोचर कर रहे हैं और इसी में वे 17 जून 2023 की रात को करीब 10 बजकर 48 मिनट यह अपनी वक्री चाल चलने लगेंगे जिससे सभी राशियों के हालात बदल जाएंगे, खासकर 3 राशियों पर इसका नकारात्मक असर बताया जा रहा है। आओ जानते हैं कि कहीं आपकी राशि तो नहीं है इसमें शामिल।
मेष, सिंह, कर्क, वृश्चिक और मीन पर शनि की वक्री चाल का प्रभाव रहेगा परंतु कर्क, वृश्चिक और मीन पर इसका असर ज्यादा है।
इस ग्रह की दो राशियां है- पहली कुंभ और दूसरी मकर। यह ग्रह तुला में उच्च और मेष में नीच का होता है। जब यह ग्रह वक्री होता है तो स्वाभाविक रूप से तुला राशि वालों के लिए सकारात्मक और मेष राशि वालों के लिए नकारात्मक असर देता है। यदि वह मेष की मित्र राशि धनु में भ्रमण कर रहा है तो मेष राशि वालों पर नकारात्मक असर नहीं डालेगा।
केंद्र में शनि (विशेषकर सप्तम में) अशुभ होता है। अन्य भावों में शुभ फल देता है। प्रत्येक ग्रह अपने स्थान से सप्तम स्थान पर सीधा देखता है। सातवें स्थान के अलावा शनि तीसरे और दसवें स्थान को भी पूर्ण दृष्टि से देखता है। शनि जिस राशि में है वहां से उक्त स्थान को वक्री देखता है। शनि कुंभ में होने के कारण सिंह राशि पर पूर्ण दृष्टि डाल रहा है।
कर्क और वृश्चिक पर है ढैया का असर- 17 जनवरी 2023 को कुंभ राशि में शनि के प्रवेश करते ही कर्क और वृश्चिक राशि वालों पर शनि की ढैया शुरू हो गई है। इन्हें शनि की वक्री चाल से नुकसान उठाना पड़ सकता है।
मीन पर है साढ़ेसाती का असर : मीन राशि- आपकी राशि पर शनि की साढ़ेसाती प्रारंभ होकर इसका पहला चरण 29 मार्च 2025 तक चलेगा और इस राशि पर 7 अप्रैल 2030 तक साढ़े साती रहेगी।