प्रेम, सुख, शांति, आकर्षण, आरोग्य देतेे हैं अष्टयक्षिणी के 8 मंत्र

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संकटों का नाश करते हैं अष्टयक्षिणी के 8 अमोघ मंत्र 
यक्षिणियां रंग, रूप, प्रेम, सुख, शांति, आकर्षण, आरोग्य, ऐश्वर्य, सौभाग्य, सफलता, संपन्नता, वैभव, पराक्रम, रिद्धि-सिद्धि, धन-धान्य, संतान सुख, रत्न जवाहरात, मनचाही उपलब्धियां, राज्य प्राप्ति और भौतिक ऐश-ओ-आराम देती है। शत्रु भय दूर करती हैं। आत्मविश्वास और सौन्दर्य से भरपूर कर देती हैं।  
 
मूल अष्ट यक्षिणी मंत्र :॥ ॐ ऐं श्रीं अष्ट यक्षिणी सिद्धिं सिद्धिं देहि नमः॥
1.सुर सुन्दरी मंत्र : ॥ ॐ ऐं ह्रीं आगच्छ सुर सुन्दरी स्वाहा ॥
2.मनोहारिणी मंत्र :॥ ॐ ह्रीं आगच्छ मनोहारी स्वाहा ॥
3.कनकावती मंत्र : ॐ ह्रीं हूं रक्ष कर्मणि आगच्छ कनकावती स्वाहा ॥
4.कामेश्वरी मंत्र : ॐ क्रीं कामेश्वरी वश्य प्रियाय क्रीं ॐ ॥
5.रति प्रिया मंत्र : ॐ ह्रीं आगच्छ आगच्छ रति प्रिया स्वाहा ॥
6.पद्मिनी मंत्र : ॐ ह्रीं आगच्छ आगच्छ पद्मिनी स्वाहा ॥
7.नटी मंत्र : ॐ ह्रीं आगच्छ आगच्छ नटी स्वाहा ॥
8.अनुरागिणी मंत्र : ॐ ह्रीं अनुरागिणी आगच्छ स्वाहा ॥

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