राजा भैया के हाथी-घोड़े और सामंती ठाठ-बाट

-राजेश जोशी

Webdunia
BBC

सोलह साल पहले उत्तरप्रदेश के तत्कालीन मुख्यमंत्री कल्याण सिंह ने प्रतापगढ़ ज़िले के कुंडा क़स्बे में हुंकार भरी थी- गुंडा विहीन कुंडा करौं, ध्वज उठाय दोउ हाथ।

कल्याण सिंह उसके बाद से राजनीतिक हिचकोले खाते रहे हैं पर जिस आदमी को उन्होंने 1996 में समूल नष्ट करने का संकल्प लिया था वो अब फिर सुर्ख़ियों में है।

राज्य के एक पुलिस अधिकारी ज़िया उल-हक़ की हत्या के सिलसिले में नाम आने के बाद रघुराज प्रताप सिंह उर्फ़ राजा भैया उर्फ़ तूफ़ान सिंह ने अखिलेश यादव मंत्रिमंडल से इस्तीफ़ा दे दिया है।

रघुराज प्रताप सिंह के राजनीतिक करियर की शुरुआत के दिनों में मैं उनसे मिलने कुंडा वाले उनके महल पहुंचा जहां उनके कई सौ एकड़ में फैली उनकी रियासत में आलीशान हाथी-घोड़े बंधे रहते थे।

अपनी जिप्सी में मुझे वो अपना फ़ार्म दिखाने ले गए। रास्ते में जिप्सी रोककर उन्होंने मुझसे उनकी पसलियां छूने को कहा। मैं थोड़ा अचकचाया पर जब मैंने हाथ बढ़ाकर पसलियां छुईं तो पाया कि दो पसलियां टूटी हुई थीं। राजा भैया ने कहा, घुड़सवारी का शौक है हमें और घोड़े से गिरने से ही ये पसलियां टूटीं।

राजा भैया का न्याय : उस दौर में हर सुबह राजा भैया अपने महल के बाहर दालान में दरबार लगाते थे। गांव के मर्द, औरत और बच्चे अपनी शिकायतें और झगड़े लेकर अदालत की बजाए उनके दरबार में पहुंचते थे, जहां राजा भैया तुरंत न्याय कर देते थे। उनके महल के बाहर कमर तक झुके हाथ जोड़े लोगों की क़तार लगी रहती थी।

पंद्रह साल पहले कुंडा थाने के रिकॉर्डों में राजा भैया और उनके पिता उदय प्रताप सिंह के ख़िलाफ़ धोखाधड़ी से लेकर हत्या के कई मामले दर्ज थे और उनका नाम इलाक़े के हिस्ट्री शीटरों में शामिल था।

उनके पिता के बारे में पुलिस रिकॉर्ड में दर्ज है कि वो 20 सदस्यों वाला अपराधी गिरोह के सरगना हैं। दस्तावेज़ के मुताबिक़ उदय प्रताप सिंह ख़तरनाक हथियारों से ख़ुद को सुसज्जित करना पसंद करते हैं और आज के इस आज़ादी के युग में अपने समाज विरोधी विचारों के आधार पर अलग राज्य स्थापित करना चाहते हैं।

उदय प्रताप सिंह भी कई विरोधाभासों को साधते रहे हैं। उनसे मुझे मिलाने ख़ुद राजा भैया ले गए, लेकिन उनके महल के बाहर काफ़ी दूर ही उन्होंने अपनी गाड़ी का इंजन बंद कर दिया।

BBC
राजा भैया ने मुझे बताया, पिताजी पर्यावरणवादी हैं और उनके सामने गाड़ी का इंजन ऑन नहीं रखा जा सकता। महल के अंदर से ख़ुद उनकी गाड़ी स्टार्ट करके बाहर नहीं लाई जाती, बल्कि उसे खींचकर लाया जाता है और बाहर स्टार्ट किया जाता है।

पिता-पुत्र : उदय प्रताप सिंह ख़ुद दून स्कूल में पढ़े थे, लेकिन उन्होंने राजा भैया को औपचारिक शिक्षा दिए जाने पर एतराज़ था। उनका मानना था कि शिक्षा हासिल करने से राजा भैया बुज़दिल हो जाएँगे। पर राजा भैया की मां ने बिना ज़ाहिर किए उन्हें प्राथमिक शिक्षा दिलवाई।

राजा भैया ने सिर्फ़ 24 वर्ष की उम्र में राजनीति में हाथ आज़माया और आज़ाद उम्मीदवार के तौर पर चुनाव जीत लिया। तीन साल बाद उन्होंने फिर चुनाव लड़ा और मुख्यमंत्री कल्याणसिंह उनके ख़िलाफ़ प्रचार करने कुंडा पहुंचे। मगर भारतीय जनता पार्टी का आधिकारिक उम्मीदवार राजा भैया से हार गया।

चमत्कार तो तब हुआ जब कुंडा को गुंडामुक्त कराने का दम भरने वाले कल्याण सिंह ने कुछ ही समय में राजा भैया को अपने मंत्रिमंडल में शामिल कर लिया।

मायावती ने जब कल्याणसिंह सरकार से समर्थन वापिस लिया था तब राजा भैया ने सरकार बचाने में कल्याण सिंह को भरपूर मदद दी। लंबी और महंगी कारों में चलने वाले इस नौजवान की उत्तरप्रदेश की राजनीति में अचानक चर्चा होने लगी। और ये चर्चा अब तक जारी है।

मायावती के शासन में उन पर पोटा क़ानून के तहत मामला दर्ज करके जेल भेज दिया गया था, लेकिन समाजवादी पार्टी के जीतते ही वो फिर उत्तरप्रदेश की राजनीति के केंद्र में आ गए।

कई बार मुश्किल में पड़ने के बावजूद उत्तरप्रदेश की राजनीति में राजा भैया किसी न किसी तरह अपनी जगह बना ही लेते हैं, इसलिए इस इस्तीफ़े को राजा भैया के राजनीतिक करियर का अंत नहीं माना जा सकता।

Show comments

जरूर पढ़ें

Maharashtra politics : क्या महाराष्ट्र में होने वाला है बड़ा खेला, फडणवीस और उद्धव ठाकरे की मुलाकात के सियासी मायने

भारत में कितनी तेजी से बढ़ रही किस धर्म की आबादी? क्या भविष्य में अल्पसंख्यक बन जाएंगे बहुसंख्यक!

निमिषा प्रिया को बचाने के लिए क्या कर रही है भारत सरकार, विदेश मंत्रालय ने दी पूरी जानकारी

Donald Trump की धमकी, रूस से सस्ता तेल, क्या करेगी भारत सरकार, पेट्रोलियम मंत्री बोले- प्लान तैयार

7 महीने में 24 हजार लोगों को काटा, अब भी 30 हजार से ज्‍यादा कुत्‍तों की नहीं हुई नसबंदी, कहां सो रहा निगम प्रशासन

सभी देखें

मोबाइल मेनिया

iPhone 16 को कड़ी टक्कर देगा Vivo का सस्ता फोन, 6500mAh की दमदार बैटरी धांसू फीचर्स

Samsung Galaxy Z Fold 7 : सैमसंग का धांसू फ्लिप स्मार्टफोन, कीमत सुनेंगे तो हो जाएंगे हैरान

OnePlus Nord 5 : 20 घंटे चलने वाली बैटरी, 50 MP कैमरा, वन प्लस का सस्ता स्मार्टफोन लॉन्च

Nothing Phone 3 की क्या है कीमत, जानिए इसके 10 दमदार फीचर्स

Nothing Phone 3 कल होगा लॉन्च, स्मार्टफोन में मिलेंगे ये खास फीचर्स, इतनी हो सकती है कीमत