फायर टेक्नोलॉजी और सेफ्टी इंजीनियरिंग

Webdunia
- प्रो. एएल मेह‍ता

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फायर इंजीनियरिंग के चुनौतीपूर्ण पेशे को अग्नि की क्रिया तथा सिद्धांतों और अग्नि के विनाशक प्रभावों से लोगों, संपत्तियों और पर्यावरण की अभिक्रियाओं एवं व्यवहार के आधार पर वैज्ञानिक तथा इंजीनियरिंग सिद्धांतों, कानूनों तथा विशेषज्ञ निर्णयों के अनुप्रयोग के रूप में परिभाषित किया जा सकता है। बड़े पैमाने पर जान तथा माल की रक्षा करने की भूमिका बढ़ने के कारण यह दुनिया का तेजी से बढ़ता हुआ एक आदर्श पेशा है।

उद्योग के आँकड़े बताते हैं कि भारत में फायर इंजीनियरिंग में शिक्षित लगभग एक लाख व्यक्तियों की प्रतिवर्ष आवश्यकता है। जबकि यदि इस आवश्यकता को वैश्विक परिदृश्य के रूप में देखा जाए तो विदेशों खासकर खाड़ी देशों में जहाँ पेट्रोल के भंडारों में हमेशा आग लगती रहती है, फायर इंजीनियरों के लिए करियर निर्माण की असीम और अनंत संभावनाएँ हैं। इस उभरते पेशे में जो भी अपना करियर बना रहा है, वह हाथों-हाथ शानदार रोजगार पाने के अलावा अपने भविष्य को सुनहरा बनाने की राह पर निश्चित ही कदम आगे बढ़ा रहा है।

चूँकि फायर इंजीनियर आग की प्रकृति, किस्मों और लक्षणों से पूरी तरह वाकिफ होता है तथा आग फैलने के कारणों और उसे रोकने के तरीकों से अवगत होता है, इसलिए विभिन्न संस्थानों में बहुमूल्य जान-माल की अग्नि सुरक्षा हेतु उसे सर्वोच्च प्राथमिकता दी जाती है। किसी भी संस्थान के फायर इंजीनियर के महत्व को इस तथ्य से भी आँका जा सकता है कि सारे कामगार मिलकर जितना उत्पादन करते हैं उतने ही उत्पादन की सुरक्षा कर फायर इंजीनियर उतनी ही बचत करता है।

चुनौतीपूर्ण क्षेत्र उज्ज्वल भविष्य
यदि हम सुरक्षित वातावरण में रहना चाहते हैं तो हमें अग्नि एवं सुरक्षा प्रबंधन की शिक्षा लेना होगी। इस क्षेत्र से जुड़े करियर हमें आकर्षक वेतन व उज्ज्वल भविष्य दे सकते हैं। दुर्घटनाओं एवं प्राकृतिक आपदाओं ने हमारे सामने एक चुनौती रखी है जिससे हमें छुटकारा पाना है। अंतरिक्ष यान कोलंबिया का गिरना, वर्ल्ड ट्रेड सेंटर पर आतंकवादी हमला, सुनामी लहरों का कहर, बॉम्बे हाई पेट्रोल प्लेटफार्म की टक्कर और यूनियन कार्बाइड में गैस रिसना जैसी आपदाओं से हमें अपने समाज को बचाकर सुरक्षित बनाना है। इसी संदर्भ में अग्नि एवं सुरक्षा अभियांत्रिकी का महत्व बहुत बढ़ जाता है।

जान एवं माल की रक्षा के लिए अग्नि एवं सुरक्षा अभियांत्रिकी का स्थान सर्वोपरि है। देश-विदेश में अग्नि एवं सुरक्षा अभियांत्रिकी के क्षेत्र में अनेक अवसर उपलब्ध हैं, जो एक अच्छे वेतनमान एवं सुंदर भविष्य की सुनिश्चितता प्रदान करते हैं। सुरक्षा एवं अग्नि में बहुत-से पाठ्यक्रम हैं जिनका चयन कर युवा वर्ग उज्ज्वल भविष्य का निर्माण कर सकता है।

अग्नि एवं सुरक्षा अभियांत्रिकी-
सुरक्षा एवं अग्नि विशेषज्ञ उन्नत विज्ञान का प्रयोग करते हुए लोगों की जान-माल की हिफाजत करते हैं। ये आतंकवादी हमलों से होने वाले नुकसान से संस्थानों को बचाते हैं। यह एक चुनौतीभरा क्षेत्र है, जो उज्ज्वल भविष्य बनाने में युवाओं की मदद करता है। अग्नि सुरक्षा अधिकारी अग्नि से होने वाले नुकसान एवं खतरों से बचाते हैं, उन्हें नए तरीकों से अवगत कराते हैं।

औद्योगिक सुरक्षा :
बहुत-से संरक्षा अधिकारी उत्पादन क्षेत्र में काम कर रहे हैं ताकि सुरक्षित वातावरण का निर्माण हो सके एवं नई-नई सुरक्षित विधियों का उपयोग हो सके। कारखाना अधिनियम 1948 के अनुसार सुरक्षा के नियमों का पालन करना सभी कारखानों के लिए अनिवार्य है। इसी दृष्टि से यह प्रावधान रखा गया है कि इन संस्थानों में एक हजार से ज्यादा कर्मचारियों के लिए एक संरक्षा अधिकारी का होना अनिवार्य है। जो कारखाने घातक पदार्थों का उपयोग करते हैं या निर्माण करते हैं, वहाँ एक संरक्षा अधिकारी होना आवश्यक है। इस सांविधिक प्रावधान के अंतर्गत प्रत्येक कारखाने में एक संरक्षा अधिकारी की पूर्णकालिक नियुक्ति की जाती है।

स्त्रोत : नईदुनिया अवसर

औद्योगिक स्वास्थ्य
इसमें विशेषज्ञ इस बात का ध्यान रखते हैं कि घातक पदार्थों से होने वाले खतरों से कर्मचारियों को कैसे सुरक्षित रखा जाए। एक औद्योगिक स्वास्थ्य विशेषज्ञ किसी भी खतरे को समझने, विश्लेषण करने एवं नियंत्रित करने का प्रशिक्षण देते हैं। छोटी औद्योगिक इकाइयों में संरक्षा अधिकारी की यह जिम्मेदारी होती है कि वह औद्योगिक स्वास्थ्य को बनाए रखे।

पर्यावरण सुरक्षा
संसार में सभी औद्योगिक इकाइयाँ हमेशा इस बारे में प्रयत्नशील हैं कि जनता को नुकसान पहुँचाने वाले एवं वातावरण को नुकसान पहुँचाने वाले पदार्थों या दूषित पदार्थों का रि-साइकल किया जाता है या रिकवर किया जाता है। औद्योगिक संरक्षा अधिकारी इस बात को लेकर हमेशा प्रयत्नशील रहता है कि सभी प्रकार के हानिकारक व वातावरण को दूषित करने वाले पदार्थों एवं निर्माण करने वाले कारखानों पर नियंत्रण रहे।

जोखिम प्रबंधन
सभी औद्योगिक कारखानों में एक आपदा विभाग होता है जिसकी यह जिम्मेदारी होती है कि किसी भी प्रकार की आपदाओं, आपातकालीन परिस्थितियों व खतरों से बचा जा सके। ऐसे सभी खतरे जिन्हें रोका नहीं जा सकता है, प्रयास द्वारा उसके दुष्प्रभाव को कम किया जा सकता है। यह कार्य जोखिम प्रबंधन का होता है।

निर्माण सुरक्षा
इसके अंतर्गत निर्माण सुरक्षा के क्षेत्र में आने वाले सभी खतरों एवं उससे होने वाले सभी नुकसान को रोकना एवं सुरक्षा के नए-नए साधनों का निर्माण कर सुरक्षा, स्वास्थ्य और आग से होने वाले खतरों पर नियंत्रण करना है। निर्माण कार्य एक बहुत बड़ा एवं विकासशील क्षेत्र है जिसमें हर रोज नए खतरे एवं उन्हें रोकने के लिए सेफ्टी ऑफिसर सदैव प्रयत्नशील रहता है।

परिवहन सुरक्षा
सुरक्षा विशेषज्ञ घातक पदार्थों के परिवहन से उत्पन्न होने वाले खतरों का आकलन कर उन्हें रोकने का प्रयास करता है। रेल, सड़क, जहाज व हवाई जहाज से होने वाले परिवहन को ज्यादा से ज्यादा सुरक्षित बनाया जाए, यह सेफ्टी विशेषज्ञ का महत्वपूर्ण कार्य होता है ताकि सुरक्षित परिवहन हो सके एवं सभी प्रकार के वैधानिक नियमों का पालन हो सके। सुरक्षा विशेषज्ञ लगातार खतरों का अध्ययन करता है व उससे होने वाले नुकसान को कम करने वाली तकनीकों को जन्म देता है।

रोजगार के अवसर
अग्नि एवं सुरक्षा अभियांत्रिकी में रोजगार के अच्छे अवसर उपलब्ध हैं। इसका पाठ्यक्रम कर आप फायर डिजाइन इंजीनियर, सेफ्टी इंजीनियर के रूप में सभी सरकारी, अर्द्धसरकारी, प्राइवेट कंपनियों, पाँच सितारा होटल, पोर्ट्‌स, ऑइल रिफाइनरियों व एलपीजी बॉटलिंग पॉइंट में सेफ्टी ऑफिसर के रूप में चुनौतीपूर्ण एवं आकर्षक करियर का निर्माण कर सकते हैं।

क्या खासियत है फायर इंजीनियर की
फायर इंजीनियरिंग में सफलता पाने का सबसे सफल तरीका है चौकस रहना और तुरंत निर्णय लेना। फायर इंजीनियर को भवनों, ढाँचों तथा संस्थानों के अंदर और बाहर आग के स्रोत की खोज करने लायक होना चाहिए। साथ ही आग की प्रकृति के अनुरूप उसे अग्निशमन उपायों को अपनाने का ज्ञान तथा अनुभव भी होना चाहिए।

उसे विभिन्न निर्माण सामग्रियों, संरचनाओं, यंत्रों तथा प्रक्रियाओं की कार्य प्रणाली की संभावनाओं का आकलन और पूर्वानुमान लगाते आना चाहिए। उसे पता होना चाहिए कि संस्थान के लिए क्या वस्तु जान और माल की दृष्टि से घातक हो सकती है तथा उसे कहाँ रखनी चाहिए और किस तरह प्रयोग में लाना चाहिए। उसे उसी तरह के अग्निशमन यंत्रों, सामग्रियों तथा सुविधाओं का ज्ञान होना चाहिए।

स्त्रोत : नईदुनिया अवसर

रिफाइनरियों, पेट्रोकेमिकल्स संयंत्रों, उद्योगों तथा अन्य स्थानों पर अग्नि दुर्घटनाओं की बढ़ती संख्या से फायर इंजीनियरिंग की आवश्यकता और महत्व बढ़ता जा रहा है। इसके साथ ही सरकारी अग्नि सेवाओं, शिल्प तथा भवन डिजाइन, इंश्योरेंस, असेसमेंट, प्रोजेक्ट मैनेजमेंट, एयर क्राफ्ट इंडस्ट्री रिफाइनरियों में फायर इंजीनियरों की माँग भी बढ़ती जा रही है।

कहाँ से करें पढ़ाई
मध्यप्रदेश में केवल एक ही संस्थान है, जो उपरोक्त सभी प्रकार के कोर्स उपलब्ध कराता है। आईईएस, आईपीएस एकेडमी राजेन्द्र नगर, एबी रोड, इंदौर में 4 वर्षीय इंजीनियरिंग डिग्री कोर्स के लिए 10+2 पीसीएम के माध्यम से प्रवेश दिया जाता है।

यह संस्था एआईसीटीई द्वारा मान्यता प्राप्त है व राजीव गाँधी प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय से संबंधित है तथा सुरक्षा मंत्रालय द्वारा अधिकृत है।

स्त्रोत : नईदुनिया अवसर
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