डॉ. शरद पगारे : एक मुलाकात

Webdunia
साहित्यकार राकेश शर्मा द्वारा प्रस्तुत विशेष साक्षात्कार
साहित्यकार तथा इतिहासकार डॉ. शरद पगारे शासकीय महाविद्यालय के प्राचार्य पद से सेवानिवृत्त होकर स्वतंत्र लेखन में संलग्न हैं। शिल्पकर्ण विश्वविद्यालय, बैंकाक में अतिथि प्राचार्य के रूप में अपनी सेवाएं दे चुके हैं। इतिहास विषय में में एम.ए. पी-एच.डी. रह चुके डॉ. पगारे मध्य प्रदेश साहित्य अकादमी, भोपाल का विश्वनाथ सिंह पुरस्कार तथा वागीश्वरी पुरस्कार, अखिल भारतीय अंबिका प्रसाद अंबिका प्रसाद दिव्य पुरस्कार, साग र, मध्य प्रदेश लेखक संघ का भोपाल का अक्षर आदित्य अलंकरण जैसे कई पुरस्कारों व सम्मानों से नवाजे जा चुके हैं।

आपकी प्रमुख प्रकाशित कृतियां हैं- उपन्यास- गुलारा बेगम, गंधर्व सेन, बेगम जैनाबादी, उजाले की तलाश, पाटलिपुत्र की साम्राज्ञी। कहानी संग्रह- एक मुट्ठी ममता, संध्या तारा, नारी के रूप, दूसरा देवदास, भारतीय इतिहास की प्रेम कहानियां, मेरी श्रेष्ठ कहानियां।

प्रस्तुत है वयोवृद्ध साहित्यकार डॉ. शरद पगारे से डॉ. राकेश शर्मा की बातचीत-

 

साक्षात्कार : डॉ. शरद पगारे ( I)


साक्षात्कार : डॉ. शरद पगारे ( II)


साक्षात्कार : डॉ. शरद पगारे ( III)


समाप्त

Show comments
सभी देखें

जरुर पढ़ें

इन 6 तरह के लोगों को नहीं खाना चाहिए आम, जानिए चौंकाने वाले कारण

बहुत भाग्यशाली होते हैं इन 5 नामाक्षरों के लोग, खुशियों से भरा रहता है जीवन, चैक करिए क्या आपका नाम है शामिल

करोड़पति होते हैं इन 5 नामाक्षरों के जातक, जिंदगी में बरसता है पैसा

लाइफ, नेचर और हैप्पीनेस पर रस्किन बॉन्ड के 20 मोटिवेशनल कोट्स

ब्लड प्रेशर को नैचुरली कंट्रोल में रखने वाले ये 10 सुपरफूड्स बदल सकते हैं आपका हेल्थ गेम, जानिए कैसे

सभी देखें

नवीनतम

मिलिंद सोमन की मां 85 साल की उम्र में कैसे रखती हैं खुद को इतना फिट, जानिए उनके फिटनेस सीक्रेट

फिर से फैल रहा है कोरोना, रखें ये 6 सावधानियां

ये हेल्दी फैट्स हार्ट को रखते हैं दुरुस्त, कोलेस्ट्रॉल भी रहता है कंट्रोल

विश्व पर्यावरण दिवस 2025 की थीम और महत्व

05 जून को विश्व पर्यावरण दिवस, जानें पर्यावरण संरक्षण पर 20 प्रेरणादायक और प्रभावी स्लोगन

अगला लेख