बीजिंग। चीन में एक बार फिर कोरोना ने पलटवार कर दिया है। गुरुवार को कोविड मामलों की की वजह से अथॉरिटीज को स्कूलों को बंद करना पड़ गया और सैकड़ों फ्लाइट्स को रद्द कर दिया गया है। चीन में अथॉरिटीज ने नई लहर के लिए पर्यटकों के एक ग्रुप को जिम्मेदार ठहराया है।
चीन ने हमेशा से जीरो कोविड नीति का पालन किया है। इस वजह से उसने बॉर्डर पर सख्ती बरती और लॉकडाउन को कड़ाई से अपनाया। यहां तक कि जब दूसरे देश प्रतिबंधों में ढील दे रहे थे, चीन ने सख्त प्रतिबंध लागू कर रखे थे। महामारी को चीन में घरेलू स्तर पर अब तक नियंत्रित करके रखा गया लेकिन लगातार 5वें दिन आए नए केसेज ने अथॉरिटीज को परेशान कर दिया है। ये ज्यादातर केसेज उत्तरी और उत्तरी-पश्चिमी प्रांत में सामने आए हैं। अथॉरिटीज ने अब यहां पर प्रतिबंधों को बढ़ा दिया है।
सरकारों ने बड़े पैमाने पर टेस्टिंग शुरू कर दी है और पर्यटन स्थलों को बंद कर दिया है। इसके साथ ही प्रभावित क्षेत्रों में स्थित स्कूलों और सभी मनोरंजन स्थलों पर ताले लगा दिए गए हैं। साथ ही हाउसिंग कंपाउंड्स पर भी लॉकडाउन लगा दिया गया है। कुछ क्षेत्रों जैसे लांझूहो में नागरिकों को जब तक जरूरी न हो घर से बाहर न निकलने के लिए कहा गया है। प्रभावित क्षेत्रों में एयरपोर्ट्स पर सैकड़ों फ्लाइट्स को कैंसल किया गया है। सियान और लांझूहो से उड़ान भरने वाली करीब 60 फीसदी फ्लाइट्स कैंसल हो गई हैं।
महामारी के मद्देनजर नागरिकों को भी उनके घर से बाहर न निकलने की सलाह दी गई है। बुधवार को 'ग्लोबल टाइम्स' की तरफ से वॉर्निंग दी गई थी कि मंगोलिया में नए केसेज की वजह से कोयले के आयात पर असर पड़ेगा और सप्लाई चेन खासी प्रभावित हो सकती है।