ज्येष्ठ माह में अपरा और निर्जला एकादशी आती है। अपरा एकादशी को अचला या अजला एकादशी भी कहते हैं। इस पर यह एकादशी का व्रत 6 जून 2021 रविवार को रखा जाएगा। इस एकादशी के दिन भगवान त्रिविक्रम यानि भगवान विष्णु की तुलसी, चंदन, कपूर व गंगाजल से पूजा करनी चाहिए। आओ जानते हैं अपरा एकादशी का व्रत रखने के 5 फायदे।
1. अपरा एकादशी व्रत से मनुष्य को अपार पुण्य और खुशियों की प्राप्ति होती है।
2. अपरा एकादशी व्रत रखने से मनुष्य ब्रह्म हत्या, परनिंदा और प्रेत योनि जैसे समस्त पापों से मुक्ति पाता है।
3. एकादशी का व्रत रखने से मानसिक शांति मिलती है।
4. अपरा का अर्थ होता है अपार, इसीलिए इस दिन व्रत करने से अपार धन-दौलत की प्राप्ति होती है।
5. इस एकादशी का विधिवत व्रत रखने से मनुष्य संसार में प्रसिद्ध हो जाता है।
6. धार्मिक मान्यता के अनुसार जो फल गंगा नदी के तट पर पितरों को पिंडदान करने, कुंभ में केदारनाथ के दर्शन या फिर बद्रीनाथ के दर्शन, सूर्यग्रहण में स्वर्णदान करने से मिलता होता है, वही फल अपरा एकादशी का व्रत करने से भी प्राप्त होता है।