भारत देश में चीनी का सेवन सीमा से अधिक किया जाता है। इसका अत्यधिक सेवन कितना घातक होता है यह बहुत कम लोग जानते हैं। भारत में मिठाईयां कई तरह की बनाई जाती है, हर त्योहार पर ढेर सारी मिठाइयों का आदान-प्रदान किया जाता है। लेकिन रिसर्च में हुआ खुलासा देखकर आप चकित रह जाएंगे। जी हां, भारत में शुगर की खपत 10 साल में ही तेजी से बढ़ी है।
आइए जानते हैं -
भारत में 2000 में प्रति व्यक्ति चीनी की खपत प्रति व्यक्ति 22 ग्राम थी। 2010 में यह आंकड़ा 55 ग्राम प्रति व्यक्ति पहुंच गया। इससे अनुमान लगाया जा सकता है कि भारत में हर साल प्रति व्यक्ति करीब 18 किग्रा. शुगर का सेवन करता है। साथ ही देश में करीब 80 फीसदी मौतें, मधुमेह और दिल की बीमारी से होती है। क्योंकि चीनी का इन दोनों बीमारी से खास कनेक्शन है।
मधुमेह में भारत का रिकॉर्ड -
- टाइप -2 डायबिटीज, इसे आम भाषा में मधुमेह कहा जाता है।
- भारत में मधुमेह के रिकॉर्ड तोड़ मरीज है।
- अंतरराष्ट्रीय डायबिटीज फेडरेशन के अनुसार 2017 में भारत में 72 लाख शुगर के मामले दर्ज किए गए।
- अत्यधिक सेवन से पैंक्रियाज इंसुलिन का ज्यादा उत्पादन करता है।
बीमारियों को न्योता -
शुगर के अत्यधिक सेवन से डायबिटीज, इम्यून सिस्टम खराब होना, दांतों का सड़ना, लगातार वजन बढ़ना। साथ ही चीनी के अत्यधिक सेवन से बाल, हड्डियों, दांतों का कैल्शियम भी खत्म हो जाता है।
- इससे पाचन तंत्र भी प्रभावित होता है।
शुगर का विकल्प
भारत देश में मिठाई सबसे पंसदीदा चीज है। ऐसे में शुगर के विकल्प की जगह इससे भी मिठाई तैयार की जा सकती है। गुड़ और शहद का सेवन किया जा सकता है। मिठाई की जगह फल जरूर खाएं। शहद चीनी का सबसे अच्छा विकल्प है। उसमें किसी प्रकार का ग्लूकोज या फ्रुक्टोज मिक्स नहीं होता है।