Select Your Language

Notifications

webdunia
webdunia
webdunia
webdunia
Advertiesment

‘कोरोना वायरस’ से उबर चुके लोगों में बढ़ रहा ‘ब्रेन हैमरेज’ का खतरा

हमें फॉलो करें ‘कोरोना वायरस’ से उबर चुके लोगों में बढ़ रहा ‘ब्रेन हैमरेज’ का खतरा
, शनिवार, 31 जुलाई 2021 (13:27 IST)
नई दिल्ली,कोरोना ने न सिर्फ लोगों की जानें लीं हैं, बल्‍क‍ि जो इससे उबर कर बच गए उन्‍हें भी कई तरह के रोग दे गया है। एक रिपोर्ट के मुताबि‍क कोरोनावायरस से स्वस्थ होने वाले मरीजों में तंत्रिका तंत्र संबंधी समस्याओं में बढ़ोतरी देखी है, जिनमें मस्तिष्क में रक्तस्राव (ब्रेन हैमरेज) के मामले भी शामिल हैं। नींद न आना, बालों का झड़ना, डि‍प्रेशन आदि तो कोरोना की वजह से हो ही रहे हैं।

कोरोना से ठीक होने के बाद की गई कई रिसर्च में यह बात सामने आई है कि अस्‍पतालों के ओपीडी में 60 प्रतिशत तक मरीजों में थकान, अवसाद, आत्मघाती विचार, अकेलेपन की भावना जैसी मानसिक या मस्‍ति‍ष्‍क संबंधी समस्याएं बढ़ती दिख रही हैं और इनमें से अधिकतर कोविड से उबर चुके मरीज हैं।

अस्पताल के चिकित्सकों ने कहा कि कोविड से स्वस्थ होने वाले मरीजों में यहां तंत्रिका तंत्र (न्यूरोलॉजिकल) संबंधी समस्याओं की परेशान करने वाली बढ़ती संख्या देखने को मिल रही है।

इंट्रासेरेब्रल (ब्रेन) हैमरेज के बढ़ते मामलों को दर्ज कर रहा है और तंत्रिका विज्ञान विभाग 50 प्रतिशत ऐसे मामलों से भरा हुआ है।

रिपोर्ट में विशेषज्ञों ने यह भी कहा कि जो लोग वैश्विक महामारी में बच गए और जो लोग कोरोनावायरस के संक्रमण की चपेट में आए थे, वे कई हफ्तों बाद सिरदर्द, चक्कर आना, थकान, संज्ञानात्मक समस्याओं, याददाश्त की समस्या, चिंता, अवसाद, स्ट्रोक, दर्द और नींद संबंधी विकार के लक्षणों के साथ बड़ी संख्या में अस्पताल आ रहे हैं।

ओपीडी में 60 प्रतिशत तक मरीज सिरदर्द, थकान, अवसाद, आत्महत्या के विचार, अकेलेपन की भावना आदि समस्याओं के साथ आ रहे हैं। दिल्‍ली के मूलचंद अस्पताल में वरिष्ठ न्यूरोसर्जन डॉ. आशा बख्शी ने कहा, इनमें से ज्यादातर मामले वो हैं जिन्हें पूर्व में कोविड हुआ था, दो या तीन महीने के अंतराल पर।

डॉ बख्शी ने कहा कि महामारी न केवल फेफड़ों से जुड़ी तीव्र सूजन संबंधी बीमारी का कारण बना है, बल्कि इसने लंबे वक्त तक रहने वाली कुछ दीर्घकालिक मस्तिष्क संबंधी समस्याएं भी पैदा की हैं। इनमें ब्रेन हैमरेज एक प्रमुख समस्‍या है। इसके साथ ही मेमोरी लॉस, ब्रेन स्‍ट्रोक जैसी गंभीर समस्‍याएं भी कोरोना की देन है। 

Share this Story:

Follow Webdunia Hindi

अगला लेख

Friendship Day 2021 : अपने दोस्‍त को दे ये खास तोहफे, जिंदगी भर कम नहीं होगी कीमत