जिजीविषा

सुभाष जोशी

Webdunia
ND
जो,
प्रतिकूल परिस्थितियों में भी,
जीने का दम-खम रखते हैं।
किसी प्राचीन मंदिर के
शिखर पर स्थित,
पीपल के पौधे को देखो,
जिसे आँधी और तूफान
निरंतर नष्ट करने का प्रयास
करते हैं।
फिर भी, बिना जमीन के,
पत्थर की छाती पर पैर रखे,
जीवित रहता है।
ND
छत पर पड़ा, मकई का भुट्टा,
हवा के साथ आई मिट्टी
और बरसात का आसरा ले
अंकुरित हो जाता है।
मानव! क्यों तनिक प्रतिकूलता से
घबरा जाता है?
कोसता है, अपने भाग्य और विधाता
को।
आत्मदाह का चिंतन करता है।
क्यों कमजोर हो जाती है
उसकी जिजीविषा?
Show comments
सभी देखें

जरुर पढ़ें

डाइजेशन से लेकर इम्यूनिटी तक: गर्मी में कच्चे पपीते का जूस ऐसे करेगा आपकी हेल्थ को सुपरचार्ज

खूबसूरत और हेल्दी बालों के दुश्मन हैं ये 5 सबसे खराब हेयर ऑयल्स, क्या आप भी कर रहे हैं इस्तेमाल?

बिना डाइटिंग के भी कम हो सकता है वजन, जानिए कौन सी हेल्दी आदतें अपनाने की है जरूरत

डिहाइड्रेशन से लेकर वजन घटाने तक, गर्मियों में खरबूजा खाने के 10 जबरदस्त हेल्थ बेनिफिट्स

अखरोट के साथ ये एक चीज मिलाकर खाने के कई हैं फायदे, जानिए कैसे करना है सेवन

सभी देखें

नवीनतम

दाभेली और वड़ा पाव में क्या है अंतर?

एलोवेरा के साथ मिलाकर लगाएं ये चीजें, मजबूत होंगे बाल, आ जाएगी गजब की शाइन

वक्फ विधेयक पारित होने के मायने

बाबा साहब डॉ. भीमराव अंबेडकर : समता, न्याय और नवजागरण के प्रतीक

बाबा साहब अंबेडकर जयंती पर कुछ दोहे