बौखलाया चीन बोला, डोकलाम विवाद के पीछे अजीत डोभाल

Webdunia
मंगलवार, 25 जुलाई 2017 (11:54 IST)
पेइचिंग। डोकलाम विवाद को लेकर चीन ने राष्ट्रीय सुरक्षा सलाह अजित डोभाल को दोषी ठहराया है। यह टिप्पणी चीन के सरकारी दैनिक ग्लोबल टाइम्स में प्रकाशित की गई है। पत्र का आरोप है ‍क‍ि डोकलाम विवाद के पीछे राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजित डोभाल का दिमाग काम कर रहा है और साथ ही इस मामले में भारतीय मीडिया के रुख को गलत ठहराते हुए कहा कि भारतीय मीडिया ऐसा माहौल बना रहा है जैसे डोभाल की यात्रा से दोनों देशों के बीच सब ठीक हो जाएगा। जबकि ऐसा कुछ संभव नहीं होगा। 
   
चीनी मीडिया लगातार डोकलाम विवाद को लेकर भारत पर हमला कर रहा है। इस बार चीन ने राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजीत डोभाल को निशाने पर लिया है। चीनी अखबार ने लिखा है कि चीनी और भारतीय सेना के बीच वर्तमान सीमा गतिरोध के पीछे अजीत डोभाल का दिमाग काम कर रहा है।
 
अखबार ने लिखा, 'सीमा पर चीनी भारतीय सेना के गतिरोध के पीछे डोभाल ही हैं और भारतीय मीडिया ऐसा माहौल बना रहा है कि जैसे उनकी यात्रा से दोनों देशों के बीच सब ठीक हो जाएगा।' डोभाल 27 जुलाई को एनएसए स्तर की बैठक में हिस्सा लेने बीजिंग जाएंगे।
 
टाइम्स ने लिखा, बीजिंग इस बात पर अडिग है कि दोनों पक्षों के बीच सार्थक बातचीत के लिए पहली शर्त चीनी क्षेत्र से भारत का पीछे हटना है। जब तक भारतीय सेना ​बिना शर्त पीछे नहीं हटती तब तक चीनी भारत के साथ बातचीत नहीं करेगा। नई दिल्ली को इस भम्र में नहीं रहना चाहिए और निश्चित तौर पर डोभाल का ​बीजिंग दौरा दोनों देशों के बीच मामला सुलझाने का मौका नहीं है।
 
भारी कीमत चुकाने की धमकी : अखबार में लिखा है कि ब्रिक्स राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकारों की बैठक एक नियमित कांफ्रेंस है जो ब्रिक्स सम्मेलन से पहले की तैयारी के लिए होती है। यह भारत-चीन सीमा विवाद को संबोधित करने का मंच नहीं है।
 
लेख में कहा गया कि चीनी सेना इतनी कड़ी कार्रवाई कर सकती है जो भारतीय सरकार और सेना सोच भी नहीं सकते हैं। हमें नहीं लगता कि भारत चीन के साथ सैन्य संघर्ष के लिए इच्छुक और तैयार है। अगर भारत इस रास्ते को चुनता है तो चीन अपनी रक्षा करने के लिए पूरी तरह सक्षम है। 
 
इससे पहले चीनी विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता लू कांग ने कहा था कि डोभाल और यांग के बीच वार्ता का दरवाजा खुले होने के बारे वह पुष्टि नहीं कर सकते लेकिन ब्रिक्स एनएसए की पहले की बैठकों में अधिकारियों ने द्विपक्षीय बैठकें की हैं। लू की टिप्पणी के पहले चीनी रक्षा मंत्रालय के प्रवक्ता वू क्विन ने जोर दिया कि चीन किसी भी कीमत पर अपने सुरक्षा हितों की रक्षा करेगा और जोर दिया कि भारत को कोई अवास्तविक भ्रम नहीं पालना चाहिए। इसमें भारतीय मीडिया को सलाह दी गई है कि भारत के लिए अपनी फौजों को वापस बुलाना ही एकमात्र सम्मानजनक तरीका है। हम सोचते हैं कि भारत अंतरराष्ट्रीय कानूनों का पालन करता है। चीन को इस मामले में नई दिल्ली को लेकर कोई दायित्व नहीं है। 
Show comments

जरूर पढ़ें

टैरिफ का टेरर, धराशाही हुए दुनियाभर के शेयर बाजार, चीन ने बताया आर्थिक धौंस, ट्रंप बोले- फैसला वापस नहीं लूंगा

मध्यप्रदेश में OBC को 27 फीसदी आरक्षण पर सुप्रीम कोर्ट का बड़ा फैसला

पटना में राहुल गांधी के जाते ही भिड़े कार्यकर्ता, सांसद अखिलेश ने मारा थप्पड़

UP : जेल में बंद मुस्कान की प्रेग्नेंसी रिपोर्ट पॉजीटिव, छिड़ेगी जंग बच्चा प्रेमी साहिल का या सौरभ का

Waqf को लेकर CM उमर पर बरसीं महबूबा, बोलीं शर्म की बात है कि...

सभी देखें

नवीनतम

ट्रंप का टैरिफ वॉर, क्या भारत में बढ़ेगी बेरोजगारी और महंगाई, क्या कहते हैं एक्सपर्ट्‍स

एक राष्ट्र एक चुनाव को लेकर CM योगी का कांग्रेस पर तीखा हमला, बोले- आंतरिक कलह से बचने के लिए देश को भटकाया

CM योगी को जान से मारने की धमकी, चिट्ठी में मुख्तार-अतीक का भी जिक्र

नए Waqf कानून के खिलाफ Supreme Court पहुंचा AIMPLB

ट्रंप के टैरिफ को लेकर राहुल का मोदी पर कटाक्ष, बोले- कहीं नजर नहीं आ रहे प्रधानमंत्री

अगला लेख