अमेरिका ने यात्रा प्रतिबंध किया स्थगित, ट्रंप प्रशासन फैसले को देगा चुनौती

Webdunia
रविवार, 5 फ़रवरी 2017 (08:37 IST)
वाशिंगटन। अमेरिका के न्याय विभाग ने राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के सात मुस्लिम देशों के लोगों पर अस्थायी प्रतिबंध लगाने के फैसले को निलंबित करने के सिएटल कोर्ट के आदेश के खिलाफ अपील की है।
न्याय विभाग ने यह कदम फेडरल जज के फैसले को पलटने के मकसद से उठाया है। ट्रंप प्रशासन के कार्यकारी आदेश में कहा गया है कि इराक, सीरिया, ईरान, लीबिया, सोमालिया, सूडान और यमन से कोई भी व्यक्ति 90 दिनों तक अमेरिका नहीं आ सकेंगे।
 
व्हाइट हाउस ने एक बयान में कहा, 'अदालत के फैसले के खिलाफ की गई यह अपील राष्ट्रपति के कार्यकारी आदेश का बचाव करेगा, जो कि वैध और उचित है। राष्ट्रपति के आदेश का मकसद देश की रक्षा करना है और उनके पास अमेरिकी नागरिकों की रक्षा करने का संवैधानिक अधिकार और जिम्मेदारी है।'
 
इससे पहले सिएटल के एक जज ने शुक्रवार को सात मुस्लिम बहुल देशों के लोगों के अमेरिका आने पर रोक लगाने के ट्रंप प्रशासन के फैसले पर अस्थाई रोक लगा दी थी। सिएटल कोर्ट के जज जेम्स रोबर्ट ने सरकारी वकीलों के उन दावों को खारिज कर दिया था जिनमें कहा गया था कि अमेरिकी राज्य ट्रंप के एक्जीक्यूटिव आदेश पर फैसला नहीं दे सकते।
 
ट्रंप प्रशासन देगा फैसले को चुनौती : अमेरिकी सरकार ने शरणार्थियों और प्रवासियों पर प्रतिबंध लगाने वाले राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के आदेश को लागू करना स्थगित कर दिया है और कहा कि वह इस आदेश पर रोक लगाने वाली एक अदालत के फैसले के खिलाफ अपील करेगी।
 
वॉशिंगटन के एक फेडरल जज ने इस प्रतिबंध पर अस्थायी रोक लगाकर व्हाइट हाउस को झटका दिया था। इसके एक दिन बाद ही अमेरिकी सरकार ने इस आदेश को लागू करना स्थगित कर दिया। राष्ट्रपति ने एक सप्ताह पहले सात मुस्लिम बहुल देशों के नागरिकों और शरणार्थियों को अमेरिका में प्रवेश करने से रोकने वाले एक शासकीय आदेश पर हस्ताक्षर किए थे।
 
व्हाइट हाउस इस प्रतिबंध को फिर से लागू करने पर काम कर रहा है। दूसरी ओर ट्रंप ने पूर्व राष्ट्रपति जॉर्ज डब्ल्यू बुश द्वारा नियुक्त किए गए अमेरिकी डिस्ट्रिक्ट जज जेम्स रॉबर्ट की खिल्ली उड़ाते हुए उन्हें 'तथाकथित जज' बताया और कहा कि उनका 'बेतुका' फैसला पलट जाएगा।
 
ट्रंप ने ट्वीट कर कहा, 'चूंकि एक जज ने प्रतिबंध हटा दिया है, कई सारे बुरे और खतरनाक लोग हमारे देश में घुस सकते हैं। एक भयानक फैसला।' व्हाइट हाउस ने बताया कि न्याय विभाग इस फैसले को चुनौती देगा। (भाषा / वार्ता)
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