चेन्नई जीत का प्रबल दावेदार

Webdunia
सोमवार, 18 मई 2009 (10:34 IST)
लगातार शिकस्त का सामना कर रही कोलकाता नाइट राइडर्स की टीम को जीत के लिए और इंतजार करना पड़ सकता है क्योंकि सोमवार को इंडियन प्रीमियर लीग में उसे चेन्नई सुपर किंग्स की टीम का सामना करना है जो बेहतरीन फॉर्म में चल रही है।

आईपीएल टू में बुरा सपना कोलकाता की टीम का पीछा छोड़ने को तैयार नहीं है और टीम को अंतिम गेंद पर डेक्कन चार्जर्स के हाथों शिकस्त के साथ लगातार आठ हार का सामना करना पड़ा है।

ब्रैंडन मैक्कुलम की लचर कप्तानी ने नाइट राइडर्स की परेशानियों में और इजाफा कर दिया है। टीम विभाजित नजर आ रही है। इसके शीर्ष खिलाड़ी फॉर्म के लिए जूझ रहे हैं, जिसके कारण नहीं लगता कि कोलकाता की टीम एक और हार से बच पाएगी।

ऑस्ट्रेलिया के डेविस हसी के आने से टीम को अपना भाग्य बदलने की उम्मीद थी लेकिन आक्रामक बल्लेबाजी के बावजूद उनका अकेले का प्रदर्शन टीम को जिताने के लिए नाकाफी है।

सौरव गांगुली रन बना रहे हैं लेकिन वे ट्वेंटी-20 के लिहाज से आक्रामक बल्लेबाजी करने में विफल रहे हैं। गेंदबाजों को विरोधी टीम को रोकने के लिए पर्याप्त रन नहीं मिल रहे जबकि ईशांत शर्मा की अगुवाई वाले गेंदबाजी आक्रमण को क्षेत्ररक्षकों ने भी निराश किया है।

इसके विपरीत रॉयल चैलेंजर्स बेंगलुरु के खिलाफ शिकस्त के बावजूद चेन्नई की टीम लगातार अच्छा प्रदर्शन कर रही है और पहले ही सेमीफाइनल में जगह बना चुकी है और इसमें ऑस्ट्रेलिया के पूर्व बल्लेबाज मैथ्यू हेडन का काफी योगदान है, जो पाँच अर्धशतकों के साथ टूर्नामेंट में सर्वाधिक रन बनाकर विरोधी गेंदबाजों के लिए सिरदर्द बने हुए हैं।

हेडन और सुरेश रैना चेन्नई के बल्लेबाजी के आधार हैं जबकि कप्तान महेंद्रसिंह धोनी ने भी धीमी शुरुआत के बाद कुछ अच्छी पारियाँ खेली हैं।

श्रीलंका के दिग्गज स्पिनर मुथैया मुरलीधरन की अगुआई में टीम का गेंदबाजी आक्रमण भी मजबूत है। कोलकाता की टीम के लचर फॉर्म को देखते हुए चेन्नई को प्रबल दावेदार माना जा रहा है लेकिन धोनी की टीम को आत्मगुग्धता से बचना होगा।

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