घर हमारे तुम्हारे

Webdunia
- इंदु पाराशर

सर्दी, गर्मी और वर्षा से,
हमको यही बचाता है।
रक्षा और सुरक्षा देता,
अपना घर कहलाता है।
लकड़ी, मिट्‍टी, खपरे गारा,
कच्चे घर के साथी हैं।
लोहा, रेत, सीमेंट, ईंट, सब
पक्के घर बनवाते हैं।
खुली खिड़कियाँ, बड़े द्वार हैं,
पूरब-पश्चिम, हवा बहे।
घर के ऊपर चिमनी देखो,
काला-काला धुआ उड़े।
सूरज मेरे घर आँगन में,
फेरा रोज लगाता है।
मेरे घर का गंदा पानी,
कहीं-नहीं रुक पाता है।
वातावारण साफ सुथरा है,
हरे-पेड़ झूमा करते।
मेरे पापा की मेहनत यह,
मेरी मम्मी के सपने।
Show comments
सभी देखें

जरुर पढ़ें

बिन बालों की ब्राइड निहार सचदेव का बोल्ड एंड ब्यूटीफुल लुक, ताने मारने वालों को ऐसे दिया करारा जवाब

अपने बच्चों को सरल और आसान भाषा में समझाएं गुड टच और बेड टच, इन टिप्स की लें मदद

जल्दी करना है वेट लॉस तो फॉलो करें ये मैजिक रूल्स, रिजल्ट देखकर लोग करेंगे तारीफ

सर्दियों में इन 5 बीमारियों में बहुत फायदेमंद है संतरे का जूस, जानिए क्या है सेवन का सही तरीका

लाइफ को स्ट्रेस फ्री बनाते हैं ये ईजी टिप्स, रूटीन में करें शामिल

सभी देखें

नवीनतम

तेजी से वजन घटाने में बहुत कारगर है तेजपत्ता, जानिए क्या है सेवन का सही तरीका

टेडी डे पर करें अपने पार्टनर को सरप्राइज, भेजें ये रोमांटिक Teddy Day Messages

फोकस बढ़ाने के लिए पीते रहिए पानी: जानिए कैसे पानी पीने से बढ़ती है एकाग्रता

क्यों डांस करते-करते हो रहे हैं हार्ट फेल, डॉक्टर से समझिए कारण और बचाव के तरीके

वैलेंटाइन डे पर अगर पार्टनर के साथ कोई बेवजह करे परेशान, तो जान लें अपने अधिकार