बाल कविता : सूरज दादा...

शम्भू नाथ
सूरज दादा सूरज दादा।।
तुमको नानी घर जाना होगा।।


 
जीव-जंतु सब व्याकुल हैं जो।। 
उनकी प्यास बुझाना होगा।। 
 
उमस बढ़ी है ज्येष्ठ तड़पता।। 
कई बीमार हैं कोई मरता।। 
 
प्रचंड आग बुझाना होगा।। 
सूरज दादा सूरज दादा।।
तुमको नानी घर जाना होगा।।
 
बिजली घर में नहीं हमारे।। 
न इतने बड़े अमीर।।
एक जून में मिलती रोटी।। 
फूटी है तकदीर।।
 
ठंडी-ठंडी बूंद गिरा के।। 
जन-जन में आश जगाना होगा।।
सूरज दादा सूरज दादा।। 
तुमको नानी घर जाना होगा।।

 
Show comments
सभी देखें

जरुर पढ़ें

ये किट बनाएगी आपकी छुट्टियों के लुक को स्पेशल और यादगार, नोट कर लें पूरी लिस्ट

समर्स में शरीर की गर्मी बढ़ा देती हैं ये चीजें, पड़ सकते हैं बीमार

kids story : स्टूडेंट का हलवा और ब्रह्म राक्षस

लू लगने के बाद क्या करें? हीट स्ट्रोक से तुरंत राहत पाने के लिए अपनाएं ये 7 आसान होम रेमेडीज

वेट कम करना पड़ा भारी, सर्जरी के बाद महिला हुई पैरालाइज, जानिए क्या हैं इस बैरिएट्रिक सर्जरी के साइड इफेक्ट्स

सभी देखें

नवीनतम

तुम्हारे रेप के लिए तुम खुद जिम्मेदार, जज की टिप्पणी से फिर मचा बवाल

गीत : महावीर पथ

'हिन्दीयोद्धा डॉ. वेदप्रताप वैदिक' पुस्तक लोकार्पित

सुप्रसिद्ध लेखक मनोज भावुक को बेस्ट राइटर अवार्ड

सिखों के 8वें गुरु, गुरु हर किशन की पुण्यतिथि, जानें उनके बारे में