लिओनार्डो दा विंसी

सीख वाली कहानी

Webdunia
ND
ND
इटली में बहुमुखी प्रतिभा के धनी लिओनार्डो दा विंसी का जन्म १४५२ में हुआ था। बचपन से ही उन्हें दूसरी शिक्षाओं के साथ पेंटिंग सीखने के लिए एंड्रिया डेल वेरोकियों के पास भेजा जाने लगा था।

लिओनार्डो की शिक्षा में खास परेशानी यह थी कि वे डिस्लेक्सिया से पीड़ित थे। (डिस्लेक्सिया वही बीमारी है, जो आमिर खान की फिल्म ''तारे जमीं पर" में ईशान को होती है।) शब्द दा विंसी को नचाते थे और उन्हें पढ़ने तथा लिखने दोनों में परेशानी होती थी। दा विंसी के बचपन की जो चीजें मिली हैं उनसे भी यह बात पता चलती है कि शब्दों की बनावट उन्हें समझ नहीं आती थी।

लिआनार्डो ने अपनी इस परेशानी का हल इस तरह निकाला कि वे चीजों और बातों को चित्र बनाकर समझने लगे। उन्हें जो कुछ भी समझना होता उसे वे चित्रों में व्यक्त कर देते। इस तरह चित्रों से दोस्ती हुई और फिर धीरे-धीरे वे एक बेहतर चित्रकार बन गए। (क्या पता लिओनार्डो के जीवन की प्रेरणा से ही "तारे जमीं पर" फिल्म बनी हो?)

लिओनार्डो दा विंसी सिर्फ चित्रकार ही नहीं थे बल्कि वे वैज्ञानिक, इंजीनियर, मूर्तिकार, संगीतकार, गणितज्ञ, खगोलविद्, जीव विज्ञानी और दार्शनिक के तौर पर प्रख्यात हुए। परेशानी अगर आती है तो नए रास्ते भी खुलते हैं। यह बात लिओनार्डो के जीवन से साफ होत ी है।

Show comments
सभी देखें

जरुर पढ़ें

क्या अपने पालतू जानवर के साथ एक बेड पर सोना है सही? जानिए क्या कहते हैं विशेषज्ञ

बदलते भारत में सेक्स बदलने की होड़, हॉर्मोन की गड़बड़ी या कोई मनोविकृति?

10 दिनों तक खाली पेट पिएं दालचीनी का पानी, फायदे जानकर रह जाएंगे दंग

ब्लड प्रेशर कंट्रोल करने में मददगार हैं आसानी से मिलने वाले ये 9 आयुर्वेदिक हर्ब्स

ये है मोबाइल के युग में किताबों का गांव, पढ़िए महाराष्ट्र के भिलार गांव की अनोखी कहानी

सभी देखें

नवीनतम

जगन्नाथ रथयात्रा: जन-जन का पर्व, आस्था और समानता का प्रतीक

क्या आप भी शुभांशु शुक्ला की तरह एस्ट्रोनॉट बनना चाहते हैं, जानिए अंतरिक्ष में जाने के लिए किस डिग्री और योग्यता की है जरूरत

शेफाली जरीवाला ले रहीं थीं ग्लूटाथियोन, क्या जवान बने रहने की दवा साबित हुई जानलेवा!

प्रधानमंत्री द्वारा ट्रंप से दो टूक बात के बाद झूठा नैरेटिव ध्वस्त हुआ

Shravan recipe: जानें कैसे बनाएं साबूदाने की स्वादिष्ट और पौष्टिक फलाहारी खिचड़ी