भारत बनाम दक्षिण अफ्रीका की जारी सीरीज यह बताती है कि टी-20 के जमाने में टेस्ट क्रिकेट कितना खूबसूरत हो सकता है। तीसरे टेस्ट के तीसरे दिन के अंत तक कांटा एक दम बराबर पर रखा हुआ है।
दक्षिण अफ्रीका के सामने 212 रन का लक्ष्य रखने वाले भारत ने गुरुवार को यहां तीसरे दिन आखिरी क्षणों में डीन एल्गर का कीमती विकेट निकालकर तीसरे और निर्णायक टेस्ट क्रिकेट मैच में अपनी उम्मीदें जीवंत रखी।
दक्षिण अफ्रीका ने तीसरे दिन का खेल समाप्त होने तक दो विकेट पर 101 रन बनाये और वह अब लक्ष्य से 111 रन पीछे है। अपनी पहली पारी में 223 रन बनाने वाली भारतीय टीम दूसरी पारी में 198 रन ही बना पायी। दक्षिण अफ्रीका ने पहली पारी में 210 रन बनाये थे। तीन मैचों की श्रृंखला अभी 1-1 से बराबरी पर है।
वैसे तो यह आंकड़ा मेजबानों के पक्ष में जाता है लेकिन जिस तरह की बल्लेबाजी दक्षिण अफ्रीका की रही है उससे यह कहा जा सकता है कि कल कुछ भी मुमकिन है। वह भी तब जब भारत पिछले मैच के मैन ऑफ द मैच कप्तान डीन एल्गर का विकेट निकाल चुका है।
जसप्रीत बुमराह ने दिन के अंतिम ओवर में एल्गर को पंत के हाथों कैच कराया जिसके लिये भारत को डीआरएस का सहारा लेना पड़ा। दूसरे टेस्ट में डीन एल्गर ने नाबाद 96 रन बनाकर अपनी टीम को 1-1 की बराबरी दिलवाई थी। कल नतीजा कुछ भी हो वह यह काम नहीं कर पाएंगे। भारत को लग रहा होगा कि उसने जाते जाते जीत की सुंगध पा ली है क्योंकि एल्गर के अलावा अब कोई बड़ा नाम बल्लेबाजी क्रम में नहीं है।
भारत को चाहिए लगातार विकेट
तीसरे टेस्ट का चौथा दिन इस टेस्ट और सीरीज का अंतिम दिन होगा। संभावना है कि कल मैच 2 या उससे भी कम सेशन में खत्म हो जाए। भारत को एल्गर का विकेट तो मिला है लेकिन उसे कल लगातार विकेट चटकाने होंगे।
भारत को पहली पारी से सबक लेना होगा जब दक्षिण अफ्रीका 100 रनों पर 3 विकेट गंवा चुकी थी और अंत में वह 210 रनों पर ऑल आउट हो गई। तीसरे टेस्ट के तीसरे सत्र में भले ही भारत ने खासे रन लुटाए हो लेकिन कल रनों पर भी पाबंदी लगाना होगा। जैसा कि पहली पारी में भी देखा गया था।
दक्षिण अफ्रीका पिछले टेस्ट से लेगी प्रेरणा
समीकरण लगभग वहीं खड़े हैं जैसे दूसरे टेस्ट के तीसरे दिन पर थे। भारत को जीत के लिए 8 विकेट तो मेजबान को 122 रनों की दरकार थी। कल दक्षिण अफ्रीका ो इससे 11 रन कम बनाने हैं।
हालांकि पिछले टेस्ट के दौरान बारिश ने दक्षिण अफ्रीका का काम आसान कर दिया था। लेकिन कल जैसे जैसे बल्लेबाज पिच पर जमते जाएंगे उनका काम आसान होता जाएगा। दक्षिण अफ्रीका को सिर्फ 2 40 से 50 रनों की साझेदारी चाहिए और मैच उनकी गिरफ्त में होगा।