नई दिल्ली। तमिलनाडु में द्रमुक नेता के कार्यालय में करोड़ों रुपए बरामद किए जाने की घटना के बाद वेल्लोर संसदीय सीट पर चुनाव रद्द कर दिया गया है।
चुनाव आयोग ने 18 अप्रैल को वेल्लोर में होने वाले चुनाव को रद्द करने की सिफारिश राष्ट्रपति राम नाथ कोविंद को भेजी थी जिसे उन्होंने आज स्वीकार कर लिया। चुनाव आयोग की ओर से इस सीट पर चुनाव रद्द होने की अधिसूचना भी जारी कर दी गई है। वेल्लोर सीट पर फिर से चुनाव कराने के लिए बाद में नए सिरे से चुनाव कराने की अधिसूचना जारी की जाएगी।
गौरतलब है कि द्रमुक कार्यालय में गत दिनों आयकर छापे में 11 करोड़ 53 लाख रुपए बरामद किए गए थे जो सीमेंट के गोदाम में छिपा कर रखे गए थे। मीडिया रिपोर्ट के अनुसार यह राशि द्रमुक नेता दुरई मुरगन की थी। वेल्लोर से द्रमुक के प्रत्याशी डी.एम. कतीर चुनाव मैदान में थे जो मुरगन के पुत्र हैं। आयकर छापे की घटना के बाद कतीर के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज की गई थी।
द्रमुक ने दावा किया था कि आयकर विभाग का यह छापा राजनीति से प्रेरित था। इस छापे के बाद मुरगन ने सोमवार को मद्रास उच्च न्यायालय का दरवाजा खटखटाया था और कहा कि इस छापे से उनके पुत्र अपना चुनाव प्रचार नहीं कर पा रहे हैं।
इस बीच, इस घटना की शिकायत चुनाव आयोग से की गई और इस शिकायत की जांच करने के बाद आयोग ने वेल्लोर संसदीय क्षेत्र का चुनाव रद्द करने की सिफारिश राष्ट्रपति से की जिसे उन्होंने आज मंजूर कर लिया।
गौरतलब है कि चुनाव की अधिसूचना राष्ट्रपति के हस्ताक्षर से जारी होती है, इसलिए चुनाव रद्द करने का अधिकार भी राष्ट्रपति को ही होता है। (वार्ता)