देवसर में कांग्रेस को झटका, नामांकन रद्द

Webdunia
मंगलवार, 12 नवंबर 2013 (16:43 IST)
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भोपाल। मध्यप्रदेश में 25 नवंबर को होने वाले विधानसभा चुनाव में 230 सीटों में से कांग्रेस के प्रत्याशी अब 229 सीटों पर ही चुनाव लड़ रहे हैं, क्योंकि सिंगरौली जिले के देवसर निर्वाचन क्षेत्र से उसके प्रत्याशी डॉ. एचएल प्रजापति का नामांकन पत्र खारिज हो गया।

आधिकारिक तौर पर बताया गया है कि डॉ. प्रजापति का चूंकि सरकारी सेवा से इस्तीफा मंजूर नहीं हो सका, इसलिए निर्वाचन अधिकारी ने उनका नामांकन पत्र खारिज कर दिया है। अत: अब कांग्रेस, प्रदेश के 230 निर्वाचन क्षेत्रों में से 229 पर ही अपने प्रत्याशी खड़े कर पाई है।

प्रदेश में नामांकन वापसी का सोमवार को आखिरी दिन होने की वजह से सत्तारुढ़ भाजपा एवं प्रमुख विपक्षी दल कांग्रेस के वरिष्ठ नेता अपनी-अपनी पार्टी के बागी प्रत्याशियों को मनाने में जुटे रहे। सूत्रों का कहना है कि दोनो पार्टियां अपने अधिकांश बागियों के मान-मनौव्वल में सफल रही हैं।

देवसर सीट पर डॉ. प्रजापति ने उच्चतम न्यायालय के पूर्व आदेशों का हवाला भी दिया, लेकिन जिला निर्वाचन अधिकारी ने नियमों का हवाला देकर उनका नामांकन पत्र इसलिए खारिज कर दिया, क्योंकि शासकीय सेवा से उनका इस्तीफा मंजूर नहीं हो सका था।

इसके बाद अब देवसर सीट पर कांग्रेस पार्टी का कोई अधिकृत प्रत्याशी नहीं बचा है। अब 229 सीटों पर ही कांग्रेस के अधिकृत प्रत्याशी हैं। पेशे से सरकारी अस्पताल में चिकित्सक डॉ. प्रजापति को कांग्रेस ने प्रत्याशी घोषित किया था। उन्होंने सरकारी सेवा से इस्तीफा देते हुए नामांकन पत्र दाखिल किया, लेकिन लोकायुक्त पुलिस के समक्ष रिश्वत का एक प्रकरण लंबित होने के कारण उनका इस्तीफा स्वीकार नहीं किया गया। इसके आधार पर निर्वाचन अधिकारी ने डॉ. प्रजापति का नामांकन पत्र निरस्त कर दिया।

इस बीच कांग्रेस ने देवसर निर्वाचन क्षेत्र से पूर्व विधायक वंशमणि प्रसाद वर्मा को भी टिकट दिया, लेकिन वे आठ नवंबर को निर्धारित समय के बाद सभी औपचारिक दस्तावेज जमा कर पाए। इस आधार पर उनका कांग्रेस प्रत्याशी के तौर पर नामांकन निरस्त कर दिया, लेकिन वे निर्दलीय प्रत्याशी के रूप में मैदान में रहेंगे। माना जा रहा है कि अब कांग्रेस इस क्षेत्र में वर्मा को अपना समर्थन दे सकती है।

दूसरी ओर, अशोकनगर विधानसभा क्षेत्र से कांग्रेस प्रत्याशी जसपाल सिंह जज्जी का नामांकन पर्चा निरस्त होने से बच गया। आधिकारिक जानकारी के अनुसार अनुसूचित जाति के लिए सुरक्षित अशोकनगर सीट से जज्जी ने कांग्रेस प्रत्याशी के तौर पर नामांकन पत्र भरा था।

पर्चे की जांच के दौरान निर्वाचन अधिकारी ने उनका नामांकन निरस्त कर दिया था, लेकिन प्रत्याशी की ओर से पुनर्विचार आवेदन लगाए जाने पर नमांकन पत्र आज मान्य कर लिया गया। दरअसल, जज्जी के जाति प्रमाण पत्र को लेकर अदालत में मामला लंबित है। इस संबंध में कांग्रेस प्रत्याशी ने उच्च न्यायालय जबलपुर की ग्वालियर खंडपीठ से स्थगन आदेश भी ले लिया है और इसी आधार पर उनका पर्चा निरस्त होने से बच गया। (भाषा)

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