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दीवाली से पहले मध्यप्रदेश में करोड़ों की काली कमाई वाले कुबेरों पर गाज, नौकरी में रहते कमाई अकूत दौलत

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भोपाल ब्यूरो

, गुरुवार, 16 अक्टूबर 2025 (14:50 IST)
भोपाल। मध्यप्रदेश दीवाली से पहले लोकायुक्त छापे में काली कमाई के कुबेरों के ठिकानों से मिली अकूत संपत्ति का खुलासा होने से हर कोई हैरान है। लोकायुक्त छापे की जद में आए रिटायर्ड आबकारी अधिकारी धर्मेंद्र सिंह भदौरिया और पीडब्ल्यूडी के पूर्व चीफ इंजीनियर पर जेपी  मेहरा के पास से जिस तरह से कोरोड़ों  की संपत्ति का खुलासा हुआ है, इससे इस बात का अंदाज लगाया जा सकता है कि दोनों ही अफसरों ने नौकरी के दौरान किस कदर का भ्रष्टाचार किया होगा। सवाल यह है कि सरकार की नाक के नीचे बैठे अफसरों ने करोड़ों की काली कमाई का साम्राज्य खड़ किया लेकिन सरकार और जांच एजेेंसियों की नजर नही गई। 

रिटायर्ड आबकारी आधिकारों ने निकला करोड़ों का आसामी- बुधवार को लोकायुक्त ने गोपनीय सूचना पर रिटायर्ट आबकारी अधिकारी धर्मेंद्र सिंह भदौरिया के इंदौर, उज्जैन और ग्वालियर के ठिकानों पर एक साथ छापा मारा तो नकदी और सोना देख अधिकारियों के होश भी उड़  है। इंदौर के पलासिया इलाके में धर्मेंद सिंह भदौरिया पर लोकायुक्त की कार्रवाई के दौरान 2 करोड़ से अधिक नगद और 4 किलो सोना और सात किलो चांदी बरामद हुई। इसके साथ है। इसके साथ कई महंगी गाडियों के साथ 10 करोड की चल-अचल संपत्ति का खुलासा हुआ है। इसके साथ भदौरिया के 3 लॉकर के साथ बेटे और बेटी के नाम पर भी करोड़ों की सपत्ति होने का खुलासा हुआ।

लोकायुक्त की अब तक की जांच में करीब 20 करोड़ की चल-अचल संपत्ति का खुलासा हुआ है। आबकारी विभाग से एक महीने पहले रिटायर होने वाले धर्मेंद्र सिंह भदौरिया पर नौकरी के दौरान कई आरोप लगे थे। इसमें 100 करोड़ से अधिक चालान घोटाले में भदौरिया का नाम साने आया था।

धर्मेंद्र भदौरिया पर उनके समधी एके सिंह के साथ मिलकर अवैध शराब का कारोबार करने का भी गंभीर आरोप है. यह कारोबार मध्य प्रदेश और गुजरात तक फैला हुआ है. उनके समधी एके सिंह गुजरात में सक्रिय हैं और दोनों मिलकर बड़े पैमाने पर अवैध शराब का धंधा चलाते हैं धर्मेंद्र सिंह भदौरिया के खिलाफ लोकायुक्त की जांच कार्रवाई अब भी जारी है औऱ लॉकर खोलने के बाद काली कमाई का यह आकंड़ा और बढ़ सकता है।

PWD का रिटायर्ड चीफ इंजीनियर निकला काली कमाई का कुबेर- वहीं  मध्य प्रदेश के राजधानी भोपाल में पीडब्ल्यूडी के पूर्व चीफ इंजीनियर जेपी मेहरा पर लोकायुक्त  की जांच में करो़ड़ों  की काली कमाई का खुलासा हुआ है। लोकायुक्त की कार्रवाई के दौरान जेपी मेहरा के ठिकानों से 35 लाख नगद और 3 करोड़ से अधिक का सोना बरामद हुआ  है। इसके  साथ कई महंगी गाड़िया और करोड़ों चल-अचल संपत्ति का खुलासा लोकायुक्त जांच में हुआ है।

जीपी मेहरा ने भोपाल से सटे नर्मदापुरम में 100 एकड़ जमीन पर प्राइवेट आइलैंड के तौर पर डेवलप कर यहां पर 40 से अधिक ऑलीशॉन कॉटेज बनाए जा रहे थे।बताया जा रहा है कि वह यहां लग्जरी रिसॉर्ट बनाने की तैयारी में जीपी मेहरा लगा हुआ था। इसके साथ ही यहां पर गौशाला बनाकर डेयरी और मछली पालन करता है। इसके साथ मधुमक्खी पालन करता था। लाोकायुक्त जांच में 17 टन शहद भी जब्त किया गया है।कार्यकाल के दौरान पीडब्ल्यूडी के पूर्व चीफ इंजीनियर जेपी मेहरा पर भ्रष्टाचार करने जैसे कई गंभीर आरोप लगे थे, जिसमे कई मामलों की जांच जारी है। जेपी मेहरा पीडब्लूडी से रिटायर होने के बाद मध्य प्रदेश वेयरहाउसिंग एंड लॉजिस्टिक कॉर्पोरेशन में संविदा पर चीफ इंजीनियर के पद पर पदस्थ हैं।
 

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