नागपंचमी पर यह 12 नाग देंगे मनचाहा वरदान

Webdunia
पंचम्यां तत्र भविता ब्रह्मा प्रोवाच लेलीहान।
तस्मादियं महाबाहो पंचमी दयिता सदा।
नागानामानन्दकरी दंत वै ब्रह्नणा पुरा।। 
 
अर्थात : 
ब्रह्माजी ने पंचमी तिथि को ही नाग-सर्पों को वर दिया था कि जन्मेजय के सर्प यज्ञ के दौरान ऋषि आस्तिक आपकी रक्षा करेंगे। पंचमी के दिन ही आस्तिक मुनि ने नागों की रक्षा की थी इसलिए पंचमी तिथि नागों को विशेष प्रिय है। 

ALSO READ: नाग पंचमी : 27 या 28 जुलाई, जानिए कब मनाना उचित है
 
नागपंचमी पर 12 नागों की क्रमश: पूजन करें। ये क्रम इस प्रकार हैं-
 
अनंत, वासुकि, शंख, पद्म, कंबल, कर्कोटक, अष्ववर, धृतराष्ट्र, शंखपाल, कालिया, तक्षक एवं पिंगल।
 
पूजन के बाद सर्प देवता से प्रार्थना करें अर्थात जैसे अन्य देवताओं को नमस्कार करते हैं, वैसे ही सर्पों को नमस्कार का विधान वेदों में बताया गया है। 
 
नमोस्तु सर्पेभ्यो ये के च पृथ्वीमनु।
येऽ अंतरिक्षे ये दिवितेभ्य: सर्पेभ्यो नम:।।
 
जो सर्प पृथ्वी के अंदर व अंतरिक्ष में हैं और स्वर्ग में हैं, उन सर्पों को नमस्कार है। राक्षसों  के लिए बाण के समान तीक्ष्ण और वनस्पति के अनुकूल तथा जंगलों में रहने वाले सर्पों को नमस्कार है। 
 
ये वामी रोचने दिवो ये वा सूर्यस्य रश्मिषु।
येषामपसु सदस्कृतं तेभ्य: सर्वेभ्यो: नम:।। 
 
जो सूर्य की किरणों में सूर्य की ओर मुख किए हुए चला करते हैं तथा जो सागरों में समूह रूप से रहते हैं, उन सर्पों को नमस्कार है। तीनों लोकों में जो सर्प हैं, उन्हें भी हम नमस्कार करते हैं।

ALSO READ: नागपंचमी की सबसे प्राचीन कथा : जब नागदेव बने भाई
 
विशेष : जो व्यक्ति नागपंचमी को सोने, चांदी व तांबे के नाग बनवाकर शिव मंदिर में चढ़ाता है व ब्राह्मण को दान देता है, उसका हमेशा के लिए सर्प का भय खत्म हो जाता है और वह स्वर्गलोक को प्राप्त होता है। 

ALSO READ: नागपंचमी पर 11 बार अवश्य पढ़ें यह अलौकिक नाग मंत्र...
 
Show comments

Astrology : किस राशि के लोग आसानी से जा सकते हैं आर्मी में?

Vastu Tips : वास्तु के अनुसार इन 4 जगहों पर नहीं रहना चाहिए, जिंदगी हो जाती है बर्बाद

Mangal Gochar : मंगल का मीन राशि में प्रवेश, 12 राशियों का राशिफल जानें

Shani Sade Sati: 3 राशि पर चल रही है शनिदेव की साढ़ेसाती, 2 पर ढैया और किस पर कब लगेगा शनि?

Vastu Tips : वास्तु शास्त्र के अनुसार घर में 2 वास्तु यंत्र रखने से होता है वास्तु दोष दूर

बृहस्पति का वृषभ राशि में गोचर, 4 राशियों को होगा नुकसान, जानें उपाय

Sabse bada ghanta: इन मंदिरों में लगा है देश का सबसे वजनी घंटा, जानें क्यों लगाते हैं घंटा

अब कब लगने वाले हैं चंद्र और सूर्य ग्रहण, जानिये डेट एवं टाइम

वर्ष 2025 में क्या होगा देश और दुनिया का भविष्य?

वैष्णव संत रामानुजाचार्य के बारे में 5 खास बातें

अगला लेख