Select Your Language

Notifications

webdunia
webdunia
webdunia
webdunia
Advertiesment

आरिफ और सारस की दोस्‍ती में नया मोड़, सारस ने खाना-पीना छोड़ा, अब उठी ये मांग

जीव संरक्षण अधिनियम के तहत आरिफ पर हो चुकी है FIR, जानिए क्‍या है नियम?

हमें फॉलो करें Arif and Saras
, बुधवार, 29 मार्च 2023 (16:29 IST)
फोटो: सोशल मीडिया / फेसबुक और ट्विटर
उत्‍तर प्रदेश में आरिफ गुर्जर नाम के एक व्‍यक्‍ति की सारस पक्षी के साथ दोस्‍ती का मुद्दा एक बार फिर से चर्चा में आ गया है। सोशल मीडिया न्‍यूज में अमेठी के आरिफ इन दिनों चर्चा में बने हुए हैं। सारस के साथ आरिफ की दोस्‍ती में एक नया एंगल आ गया है। आरिफ से सारस पक्षी को अलग करने के बाद सारस ने खाना-पीना छोड़ दिया है।

बता दें कि अब उत्तर प्रदेश वन विभाग द्वारा आरिफ गुर्जर और सारस को अलग करने के बाद कई तरह की प्रतिक्रियाएं आ रही हैं। सारस को वापस आरिफ के पास लाने के लिए कुछ लोग मुहिम भी चला रहे हैं।

क्या है पूरा मसला?
दअरसल, यह मामला 7 महीने पहले प्रकाश में आया था। अगस्त 2022 में आरिफ यह सारस घायल अवस्‍था में कहीं मिला था। आरिफ ने उसकी मरहम-पट्टी कर जान बचाई और इलाज करवाया। इसके बाद सारस आरिफ के साथ ही रहने लगा। उसी के साथ खाना पीना और रहना। दोनों की ये दोस्‍ती सोशल मीडिया में मशहूर हो गई। इनकी दोस्ती के कई वीडियो सोशल मीडिया पर खूब वायरल हुए। आरिफ और सारस से मिलने उत्तर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव भी पहुंचे थे। दोनों की जोड़ी खूब लोकप्रिय हो रही थी। 21 मार्च 2023 को उत्तर प्रदेश वन विभाग को जब इस बात की भनक लगी तो उसने सारस और आरिफ को अलग कर दिया।
webdunia

अलग किया तो वापस आ गया सारस
यह घटना तब और ज्‍यादा चर्चा में आई जब अपने यार आरिफ की जुदाई में सारस ने खाना पीना छोड़ दिया। उसे पहले समसपुर पक्षी विहार में रखा गया था। यहां वह अपने दोस्त आरिफ की तलाश में उड़कर नजदीकी गांव जा पहुंचा। इसके बाद उसे कानपुर चिड़ियाघर में रखा गया है। लेकिन अब उसने खाना पीना छोड़ दिया है।

अब लोगों ने शुरू किया अभियान
यह मुद्दा हॉट ट्रेंड बन गया है। आरिफ-सारस की जुदाई पर लोग तरह-तरह की प्रतिक्रियाएं दे रहे हैं। कई लोग सारस को वापस आरिफ के पास लाने की अपील भी कर रहे हैं। बता दें कि आरिफ पर वन्य जीव संरक्षण अधिनियम 1972 का उल्लंघन करने के आरोप में धारा 2, 9, 29, 51 और धारा 52 के तहत केस दर्ज किया गया है। एक्ट की धारा 51 के मुताबिक, अपने मनोरंजन के लिए किसी पशु-पक्षी या जानवर की जिंदगी से आप खिलवाड़ नहीं कर सकते। दोषी को 7 साल की सजा या 25 हजार रुपए का जुर्माना या दोनों हो सकते हैं।

क्‍या है नियम?
भारतीय संविधान के 51वें अनुच्छेद के मुताबिक हर नागरिक पर्यावरण, वन संरक्षण और और वन्यजीव संरक्षण के लिए काम करें। इसके साथ ही वन्य जीव संरक्षण अधिनियम 1972 के तहत जिन पशु-पक्षियों के पालन पर पाबंदी है, उनमें सारस भी शामिल है। ऐसे में आरिफ को सारस का उपचार करके वन विभाग या पुलिस को 48 घंटे के अंदर सूचित करना चाहिए था। लेकिन आरिफ ने ऐसा नहीं किया। हालांकि अब लोग इस मामले में इमोशनल एंगल को भी देख रहे हैं। कई लोगों का कहना है कि जब आरिफ और सारस इमोशनली अटैच्‍ड हैं तो कानून को कुछ हद तक नजरअंदाज किया जा सकता है।
Edited: By Navin Rangiyal

Share this Story:

Follow Webdunia Hindi

अगला लेख

Kuno national park में बढ़ा चीतों का कुनबा, मादा चीते ने दिया 4 शावकों को जन्म