चमलियाल मेले में कोरोना ने दूसरी बार तोड़ी शकर-शर्बत बांटने की परंपरा

सुरेश एस डुग्गर
गुरुवार, 24 जून 2021 (17:35 IST)
जम्मू। कई सौ सालों से चले आ रहे चमलियाल मेले पर एक बार फिर कोरोनावायरस (Coronavirus) की छाया पड़ ही गई। कोरोना पाबंदियों के चलते गिनती के ही श्रद्धालु शामिल हुए और इस बार दोनों मुल्कों के बीच शकर-शर्बत का आदान-प्रदान भी नहीं हुआ। लगातार चौथे साल दोनों मुल्कों के बीच शकर और शर्बत नहीं बांटी गई है।

आसपास के गांवों के लोगों को भी दरगाह तक पहुंचने की मनाही कर दी गई थी क्योंकि बीएसएफ तथा स्थानीय प्रशासन ने मेले को रद्द करते हुए दरगाह पर आने वालों को चेताया था कि वे उन्हें सुरक्षा मुहैया नहीं करवा सकते हैं तथा कोरोना के कारण सामाजिक दूरी बनाए रखना मुश्किल काम है। ऐसे में चमलियाल दरगाह जो दोनों देशों के लोगों की आस्था और श्रद्धा का प्रतीक है, पर आज बैरौनकी छाई रही।

आज के दिन जहां इस दरगाह पर श्रद्धालुओं का सैलाब उमड़ा रहता था वहां इक्का-दुक्का स्थानीय श्रद्धालु ही पहुंचे। कारण था कोरोना महामारी का प्रकोप। कोरोना संकट के चलते प्रशासन ने दरगाह पर मेले के आयोजन की इजाजत नहीं दी। हालांकि रस्म के अनुसार बीएसएफ के अधिकारियों व गांव के पंच-सरपंचों के साथ मिलकर बाबा दिलीप सिंह की मजार पर चादर चढ़ाई।

करीब 323 वर्ष साल से लगातार जिला सांबा के रामगढ़ में अंतरराष्ट्रीय सीमा पर लगने वाले चमलियाल मेले (उर्स) का आयोजन हर साल जून महीने के चौथे वीरवार को होता है। जम्मू कश्मीर प्रशासन व सीमा सुरक्षाबल की तरफ से मेले के लिए तैयारियां की जाती हैं। परंतु इस साल कोरोना संक्रमण के कारण प्रशासन ने अन्य धार्मिक समारोह की तरह ही इस मेले को भी आयोजित करने की इजाजत नहीं थी। इक्का-दुक्का अधिकारियों को ही चादर चढ़ाने के लिए कहा गया था।

मेले के बारे में एक कड़वी सच्चाई यह थी कि जब 1947 में देश का बंटवारा हुआ था तो दरगाह के दो भाग हो गए थे। असली दरगाह इस ओर रह गई और उसकी प्रतिकृति पाकिस्तानी नागरिकों ने अपनी सीमा चौकी सैदांवाली के पास स्थापित कर ली।

बताया यही जाता है कि पाकिस्तानी नागरिक बाबा के प्रति कुछ अधिक ही श्रद्धा रखते हैं, तभी तो इस ओर मेला एक दिन तथा उस ओर सात दिनों तक चलता रहता है, जबकि इस ओर 60 से 70 हजार लोग इसमें शामिल होते रहे हैं, जबकि सीमा के उस पार लगने वाले मेले में शामिल होने वालों की संख्या चार लाख से भी अधिक होती है।

सम्बंधित जानकारी

Show comments

जरूर पढ़ें

India-Pakistan Conflict : सिंधु जलसंधि रद्द होने पर प्यासे पाकिस्तान के लिए आगे आया चीन, क्या है Mohmand Dam परियोजना

Naxal Encounter: कौन था बेहद खौफनाक नक्‍सली बसवराजू जिस पर था डेढ़ करोड़ का इनाम?

ज्‍योति मल्‍होत्रा ने व्‍हाट्सऐप चैट में हसन अली से कही दिल की बात- कहा, पाकिस्‍तान में मेरी शादी करा दो प्‍लीज

भारत के 2 दुश्मन हुए एक, अब China ऐसे कर रहा है Pakistan की मदद

गुजरात में शेरों की संख्या बढ़ी, खुश हुए प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी

सभी देखें

नवीनतम

Covid-19 के मामले आने के बाद दिल्ली सरकार ने जारी की एडवाइजरी

अग्निवीर साथी को बचाने में शहीद हुए अयोध्या के लेफ्टिनेंट शशांक

Israel-Hamas War : इसराइल ने गाजा पर फिर किए हमले, कम से कम 60 लोगों की मौत

जयशंकर ने पाकिस्तान को लेकर जर्मनी में कही बड़ी बात, बोले- झुकने का तो सवाल ही नहीं

लंदन जा रहे ब्रिटिश एयरवेज विमान की इमर्जेंसी लैंडिंग, तकनीकी खराबी के कारण बेंगलुरु लौटा

अगला लेख