Haryana Political crisis : हरियाणा में 3 निर्दलीय विधायकों द्वारा भाजपा नीत सरकार से समर्थन वापस ले लिया और घोषणा की कि वे कांग्रेस का समर्थन करेंगे। इसके साथ ही नायब सिंह सैनी सरकार राज्य विधानसभा में अल्पमत में आ गई। इस बीच कांग्रेस नेता हुड्डा ने राज्य में राष्ट्रपति शासन की मांग की है। हरियाणा में अक्टूबर में विधानसभा चुनाव होने हैं।
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हरियाणा की 90 सदस्यीय विधानसभा में सदस्यों की मौजूदा क्षमता 88 है। सरकार के पास बहुमत से 2 विधायक कम हैं। वर्तमान में भाजपा नीत सरकार को दो अन्य निर्दलीय विधायकों का समर्थन प्राप्त है।
गौरतलब है कि जजपा ने मार्च में गठबंधन सरकार से समर्थन वापस ले लिया था। विधानसभा में भाजपा के 40, कांग्रेस के 30 और जजपा के 10 विधायक हैं। हालिया दिनों में, जननायक जनता पार्टी (जजपा) के कुछ विधायकों ने भाजपा को समर्थन देने का संकेत दिया है।
क्या बोले भूपेंद्र सिंह हुड्डा : निर्दलीय विधायक सोमबीर सांगवान (दादरी), रणधीर सिंह गोलन (पुंडरी) और धर्मपाल गोंदर (नीलोखेड़ी) ने नेता प्रतिपक्ष भूपेंद्र सिंह हुड्डा और प्रदेश कांग्रेस प्रमुख उदय भान की मौजूदगी में रोहतक में संवाददाता सम्मेलन में अपने फैसले की घोषणा की। नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि हरियाणा समेत देश भर में कांग्रेस के पक्ष में लहर है और जनता की भावनाओं का सम्मान करते हुए निर्दलीय विधायकों ने यह फैसला लिया है। सरकार को इस्तीफा दे देना चाहिए। राज्य में राष्ट्रपति शासन लगाया जाना चाहिए और चुनाव कराया जाना चाहिए। यह जनविरोधी सरकार है।
दिग्विजय चौटाला का बड़ा बयान : इस बीच, जजपा नेता दिग्विजय सिंह चौटाला ने कहा कि हुड्डा को जनता का विश्वास खो चुकी सरकार को गिराने की प्रक्रिया शुरू करनी चाहिए। उन्होंने यह भी कहा कि हुड्डा को तुरंत राज्यपाल से मिलना चाहिए और उन्हें स्थिति से अवगत कराना चाहिए। चौटाला ने कहा कि हुड्डा कहते हैं कि सरकार अल्पमत में है। वह विपक्ष के नेता हैं और उन्हें तुरंत राज्यपाल से मिलना चाहिए और उन्हें घटनाक्रम से अवगत कराना चाहिए।
क्या जेजेपी देगी कांग्रेस का साथ : चौटाला ने जजपा के कांग्रेस को समर्थन देने के सवाल पर कहा कि मैं यह नहीं कह रहा हूं कि जजपा कांग्रेस को समर्थन देने और उसके साथ सरकार बनाने को तैयार है। कम से कम जो सरकार जनता का विश्वास खो चुकी है, उसे हटाने के लिए हुड्डा को प्रक्रिया शुरू करनी चाहिए। उन्होंने यह भी कहा कि राज्यपाल से मिलने के अलावा हुड्डा को जजपा के साथ संपर्क साधने की कोशिश भी करनी चाहिए।
गौरतलब है कि मनोहर लाल खट्टर की जगह सैनी ने नए मुख्यमंत्री के रूप में शपथ ली थी। सैनी के नेतृत्व वाली भाजपा सरकार ने 13 मार्च को सदन में ध्वनि मत से विश्वास मत जीत लिया था। करनाल से लोकसभा चुनाव लड़ रहे खट्टर ने करनाल से विधायक पद से इस्तीफा दे दिया था।
हरियाणा के पूर्व मंत्री रणजीत सिंह चौटाला ने मार्च में विधायक पद से इस्तीफा दे दिया था। वह रानिया क्षेत्र से निर्दलीय विधायक थे और 24 मार्च को भाजपा में शामिल होने के बाद उन्होंने इस्तीफा दे दिया। भाजपा ने हिसार लोकसभा सीट से रणजीत सिंह चौटाला को उम्मीदवार बनाया है।
Edited by : Nrapendra Gupta