नई दिल्ली। भारत के सबसे लंबे सड़क-रेल पुल का निर्माण कार्य इस साल पूरा हो जाने की संभावन व्यक्त की जा रही है, जो कि असम के डिब्रूगढ को अरुणाचल प्रदेश के पासीघाट से जोड़ेगा। इस पुल को चीन के साथ लगती सीमा पर रक्षा साजो-सामान भेजने के लिए बेहद महत्वपूर्ण माना जा रहा है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी साल के अंत में इस पुल का उद्घाटन कर सकते हैं।
खबरों के मुताबिक, इस साल जुलाई तक 4.94 किलोमीटर लंबे इस पुल का निर्माण कार्य पूरा हो जाएगा, लेकिन उसके इलेक्ट्रिकल और सिग्नल काम को पूर होने में दो महीने और लगेंगे। बोगीबेल पुल का उद्घाटन साल के अंत तक प्रधानमंत्री मोदी द्वारा किए जाने की संभावना है।
एशिया के इस दूसरे सबसे बड़े पुल में शीर्ष पर तीन लेन की सड़क है और उसके नीचे दोहरी रेल लाइन है। यह पुल ब्रह्मपुत्र के जलस्तर से 32 मीटर की ऊंचाई पर है। चीनी सीमा पर तैनात सशस्त्र बलों के लिए तेजपुर से आपूर्ति प्राप्त करने के लिए साजोसामान संबंधी मुद्दे को हल करने की दिशा में एक रणनीतिक कदम है।
ट्रेन से डिब्रूगढ़ से अरुणाचल प्रदेश जाने के लिए लोगों को 500 किलोमीटर से अधिक की दूरी तय कर गुवाहाटी जाना होता है, लेकिन अब इस पुल से यह यात्रा 100 किलोमीटर से कम रह जाएगी। 1996 में ही इस पुल की मंजूरी मिल गई थी, लेकिन निर्माण कार्य 2002 में शुरू हुआ।