जयपुर बम ब्‍लास्‍ट मामला : 4 दोषियों को फांसी की सजा, एक आरोपी बरी

Webdunia
शुक्रवार, 20 दिसंबर 2019 (18:27 IST)
जयपुर। 13 मई, 2008 को गुलाबी नगरी में हुए सिलसिलेवार बम धमाके के चारों आरोंपियों को शुक्रवार को फांसी की सजा सुनाई गई है। जबकि एक आरोपी को संदेह का लाभ देते हुए बरी कर दिया। इन धमाकों में 71 लोगों की मौत हो गई थी, जबकि 176 घायल हुए थे।

खबरों के मुताबिक, विशेष अदालत के न्यायाधीश अजय कुमार शर्मा ने शुक्रवार शाम यह फैसला सुनाया। मामले पर फैसला देते हुए कोर्ट ने दोषी करार दिए गए सभी 4 आरोपियों सरवर आजमी, मोहम्मद सैफ, सैफुर रहमान और सलमान को फांसी की सजा सुनाई है।

13 मई, 2008 को शहर के अंदर अलग-अलग जगहों पर 8 सिलसिलेवार धमाके हुए थे, जिनमें 71 लोगों की मौत हो गई थी और 176 घायल हो गए थे। पिछले एक साल में मामले की सुनवाई तेज कर 1 हजार 296 गवाहों के बयान दर्ज किए गए और अभियोजन और बचाव पक्ष ने सवाल-जवाब भी किए।

चारों आरोपियों को आईपीसी की धारा 302, 307,324, 326, 120 बी, 121ए और 124 ए, 153 ए के तहत दोषी माना गया है। इसके अलावा विस्फोटक पदार्थ अधिनियम की धारा 3 के तहत और विधि विरुद्ध क्रियाकलाप अधिनियम की धारा 13, 16, 1 ए और 18 के तहत भी उन्हें दोषी ठहराया है। अदालत ने आरोपी शाहबाज हुसैन को बरी कर दिया क्योंकि उनके खिलाफ आरोप सिद्ध नहीं हो सके।

ब्लास्ट के चारों आरोपितों को बुधवार को दोषी ठहराए जाने के बाद गुरुवार को सजा के बिंदुओं पर बहस हुई थी। बहस से पहले चारों दोषियों को कड़ी सुरक्षा के बीच कोर्ट लाया गया था। धमाकों के 10 आरोपित थे, जिनमें से 2 सितंबर 2008 में दिल्ली के बटला हाउस एनकाउंटर में मारे गए थे और 3 अब भी फरार हैं। बम धमाकों के पीड़ितों को जल्द न्याय दिलाने के लिए राजस्थान हाईकोर्ट ने विशेष कोर्ट गठित की थी।

सम्बंधित जानकारी

Show comments

जरूर पढ़ें

फेंगल तूफान : क्रैश होने से बचा विमान, पायलट ने सूझबूझ से बचाई यात्रियों की जान, रोंगटे खड़े करने वाला Video

Maharashtra CM : कौन होगा महाराष्ट्र का सीएम, BJP के वरिष्ठ नेता ने कर दिया खुलासा

Waqf Bill : वक्फ की कितनी संपत्तियों पर है कब्जा, संसदीय समिति ने राज्यों से मांगा ब्योरा, सच्चर कमेटी का दिया हवाला

Sambhal Violence : संभल हिंसा की जांच शुरू, न्यायिक आयोग की टीम ने किया जामा मस्जिद का दौरा

जनसंख्या गिरावट से मोहन भागवत चिंतित, बताया कैसे नष्‍ट होता है समाज?

सभी देखें

नवीनतम

श्रीकांत शिंदे नहीं बनना चाहते डिप्टी सीएम, जानिए क्या है वजह?

भाजपा ने सीतारमण, रूपाणी को बनाया पर्यवेक्षक, महाराष्‍ट्र को जल्द मिलेगा मुख्‍यमंत्री

LIVE: महाराष्‍ट्र के लिए भाजपा ने निर्मला सीतारमण और विजय रूपाणी को बनाया पर्यवेक्षक

सुप्रीम कोर्ट ने प्रदर्शनकारी किसानों से कहा, लोगों को परेशानी ना हो

AAP को मिला अवध ओझा का साथ, क्या बोले केजरीवाल?

अगला लेख