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निरंजनी अखाड़े में कैलाशानंद महाराज का आचार्य महामंडलेश्वर पद पर पट्टाभिषेक

हमें फॉलो करें निरंजनी अखाड़े में कैलाशानंद महाराज का आचार्य महामंडलेश्वर पद पर पट्टाभिषेक

निष्ठा पांडे

, गुरुवार, 14 जनवरी 2021 (22:28 IST)
हरिद्वार स्थित निरंजनी अखाड़े में कैलाशानंद गिरि महाराज का मकर संक्रांति पर आचार्य महामंडलेश्वर पद पर बड़ी धूमधाम के साथ पट्टाभिषेक किया गया। इस दौरान अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष नरेन्द्र गिरि महाराज समेत बड़ी संख्या में सभी तेरह अखाड़ों के साधु-संत मौजूद रहे। इस दौरान कई वीआईपी लोग भी कैलाशानंद गिरि महाराज के पट्टाभिषेक में शामिल हुए।

राज्यपाल बेबी रानी मौर्य, सांसद मनोज तिवारी, प्रसिद्ध गायिका अनुराधा पौडवाल, पतंजलि योगपीठ के महामंत्री आचार्य बालकृष्ण, आरएसएस के इंद्रेश कुमार, दिनेश, शिव प्रकाश, युद्धवीर, शरद कुमार कैबिनेट मंत्री मदन कौशिक, विधानसभा अध्यक्ष प्रेमचंद अग्रवाल, कैबिनेट मंत्री सुबोध उनियाल, ज्वालापुर विधायक सुरेश राठौर, रूड़की विधायक प्रदीप बत्रा, रानीपुर विधायक आदेश चौहान, भाजपा नेता विकास तिवारी, नरेश शर्मा, ओम प्रकाश जमदग्नि भी पट्टाभिषेक समारोह में शामिल हुए।

सभी ने अखाड़ा परम्परा के अनुसार आचार्य महामण्डलेश्वर की चादर विधि की।कार्यक्रम में मौजूद सभी ने चादर विधि के अनुसार कैलाशानंद गिरि महाराज को चादर ओढ़ाकर उनका स्वागत किया और आचार्य महामंडलेश्वर बनने की शुभकामनाएं दीं।
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इससे पहले कैलाशानंद गिरि महाराज रथ पर शोभायात्रा निकालते हुए आश्रम दक्षिण काली मंदिर से निरंजनी अखाड़े तक पहुंचे। इस दौरान उन पर हेलीकॉप्टर से फूलों की वर्षा की गई, साथ ही जगह-जगह रास्ते में भी समर्थकों ने पुष्पवर्षा कर उनका जोरदार स्वागत किया।

इस दौरान कार्यक्रम में सांसद मनोज तिवारी और प्रसिद्ध भजन गायिका अनुराधा पौडवाल ने भी मंच से भजन गाकर शुभकामनाएं दीं। केंद्रीय रक्षामंत्री राजनाथ सिंह ने अपना संदेश भेजकर कैलाशानंद गिरि महाराज को आचार्य महामंडलेश्वर बनने पर शुभकामनाएं दीं और इस पल को अपने लिए व्यक्तिगत हर्ष का विषय बताया।

आचार्य कुलम के उपनयन संस्कार में शामिल हुए मुख्‍यमंत्री : हरिद्वार में पतंजलि फेस 2 आचार्य कुलम में मकर संक्रांति के अवसर पर आयोजित यज्ञोपवीत उपनयन संस्कार में मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत सपरिवार शामिल हुए। उन्होंने छात्रों को शुभकामनाएं देते हुए कहा कि संक्रांति शुभ, ज्ञान, ऊर्जा एवं प्रकाश का प्रतीक है।

संक्रांति से जीवन में सकारात्मकता आती है, इसलिए हम प्राचीनकाल से ही संक्रान्ति के उपासक रहे हैं। हमारे त्योहार संस्कारों से जुड़े हैं। उन्होंने कहा कि बच्चों के बीच पतंजलि में आकर उन्हें अपार आनन्द का अनुभव हुआ।
इसके बाद मुख्यमंत्री सपरिवार पतंजलि फेस 1 भी पहुंचे, उन्होंने यहां मकर संक्रांति के उपलक्ष्य में पतंजलि द्वारा आयोजित चतुर्वेद महा परायण यज्ञ का आरंभ किया।

यह यज्ञ लगभग एक महीने चलेगा इस यज्ञ में स्वामी रामदेव के साथ मुख्यमंत्री ने भी सहभागिता की और यज्ञ में आहूति देकर देश के लिए मंगलकामना की। इस अवसर पर मुख्यमंत्री ने 'वेदों की शिक्षाएं' नामक पुस्तक का विमोचन भी किया।

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