इंदौर (मध्यप्रदेश)। राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने मंगलवार को प्रवासी भारतीय समुदाय से आह्वान किया कि वह आजादी की 100वीं वर्षगांठ वाले साल 2047 तक देश को एक आत्मनिर्भर राष्ट्र के तौर पर दुनिया का अगुवा बनाने की यात्रा में सहयात्री बने। राष्ट्रपति ने इस अवसर पर अलग-अलग क्षेत्रों में उल्लेखनीय योगदान करने वाले 27 भारतवंशियों को 'प्रवासी भारतीय सम्मान' से भी नवाजा।
मुर्मू ने इंदौर में 17वें प्रवासी भारतीय दिवस सम्मेलन के समापन सत्र में कहा कि भारत अगले 25 साल के दौरान सामूहिक परिश्रम, समर्पण और चौतरफा विकास की महत्वाकांक्षी यात्रा में रहने वाला है ताकि हम 2047 तक एक आत्मनिर्भर देश के तौर पर दुनिया की अगुवाई कर सकें।
'प्रवासी : अमृत काल में भारत की प्रगति में विश्वसनीय भागीदार' की थीम पर आयोजित सम्मेलन की समाप्ति से पहले राष्ट्रपति ने प्रवासी भारतीय समुदाय को देश की इस यात्रा में शामिल होने का न्योता दिया। उन्होंने कहा कि भारतवंशियों की सामूहिक शक्ति, क्षमता, ऊर्जा, अनुभवों, विचारों, ज्ञान, तकनीकी महारत, कारोबारी कौशल और निवेश से 'आत्मनिर्भर भारत' की अवधारणा को साकार करने में खासी मदद मिलेगी।
मुर्मू ने यह भी कहा कि आर्थिक और भू-राजनीतिक उथल-पुथल के चलते दुनिया इन दिनों चुनौतीपूर्ण समय से गुजर रही है। इन सब चुनौतियों के बीच भारत अपने राष्ट्रीय हितों की रक्षा के लक्ष्य के लिए बड़े आत्मविश्वास के साथ दुनिया के सामने खड़ा है। इस बात की झलक तमाम बड़े देशों के साथ भारत के मजबूत रिश्तों और कई वैश्विक मंचों पर देश के सशक्त नेतृत्व में मिलती है।
मुर्मू ने कहा कि जी20 की मौजूदा भारतीय अध्यक्षता की थीम 'एक पृथ्वी, एक परिवार, एक भविष्य' दरअसल भारत की 'वसुधैव कुटुम्बकम्' (पूरी दुनिया एक परिवार) की प्राचीन विचारधारा से प्रेरित है और यह थीम दुनिया के सभी लोगों के उचित व निष्पक्ष विकास के प्रति देश की प्रतिबद्धता दर्शाती है।
राष्ट्रपति ने अलग-अलग क्षेत्रों में उल्लेखनीय योगदान करने वाले 27 भारतवंशियों को 'प्रवासी भारतीय सम्मान' से नवाजा। इनमें गुयाना के राष्ट्रपति और 17वें प्रवासी भारतीय दिवस सम्मेलन के मुख्य अतिथि मोहम्मद इरफान अली शामिल हैं।
इस कार्यक्रम के दौरान मंच पर सूरीनाम के राष्ट्रपति और सम्मेलन के विशेष सम्मानित अतिथि चंद्रिकाप्रसाद संतोखी, विदेश मंत्री एस. जयशंकर, नागरिक उड्डयन मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया, मध्यप्रदेश के राज्यपाल मंगू भाई पटेल और मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान भी मौजूद थे।
राष्ट्रपति मुर्मू ने समारोह में यह भी कहा कि प्रवासी भारतीय वैश्विक तंत्र का अद्वितीय और अहम हिस्सा हैं तथा उन्होंने दुनिया के हर भाग में ऊर्जा और आत्मविश्वास से लैस समुदाय के रूप में अपनी पहचान बनाई है। प्रवासी भारतीय कला, साहित्य, राजनीति, खेल, कारोबार, शिक्षा, विज्ञान, तकनीक और अन्य क्षेत्रों में अपने विशिष्ट योगदान से दुनिया की अगुवाई कर रहे हैं। आपकी (प्रवासी भारतीय) उपलब्धियों से हम गौरवान्वित और प्रसन्न होते हैं।(भाषा)
Edited by: Ravindra Gupta