मुंबई। भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने ऋणदाताओं यानी बैंकों से अडाणी समूह (Adani Group) को दिए गए कर्ज का ब्योरा मांगा है।इससे एक दिन पहले शेयर की कीमतों में भारी गिरावट के बीच समूह की प्रमुख फर्म अडाणी एंटरप्राइजेज के 20000 करोड़ रुपए के अनुवर्ती सार्वजनिक पेशकश (FPO) के वापस ले लिया गया था।
बैंकिंग सूत्रों ने यह जानकारी दी। स्विटजरलैंड के ऋणदाता क्रेडिट स्विस ने बुधवार को मार्जिन कर्ज देने के लिए अडाणी समूह की कंपनियों के बॉन्ड को गारंटी के रूप में स्वीकार करना बंद कर दिया था। विविध क्षेत्रों में काम करने वाले समूह को पिछले एक हफ्ते से मुश्किल हालात का सामना करना पड़ रहा है।
इसकी शुरुआत अमेरिकी शॉर्ट सेलर हिंडनबर्ग रिसर्च की रिपोर्ट के साथ हुई, जिसमें समूह के संचालन के बारे में कई आरोप लगाए हैं। अहमदाबाद मुख्यालय वाले समूह ने सभी आरोपों का खंडन किया है, लेकिन विश्लेषकों और निवेशकों को अपनी बात समझाने में विफल रहा है।
बैंकिंग सूत्रों ने कहा कि बड़े ऋण संबंधी आंकड़ों की जानकारी के तहत आरबीआई नियमित रूप से बैंकों के बड़े कॉर्पोरेट उधारकर्ताओं का ब्योरा लेता है। कई बार बैंक गिरवी रखी गई प्रतिभूतियों के बदले उधार देते हैं और अडाणी समूह की 10 सूचीबद्ध कंपनियों के इक्विटी शेयरों की कीमत में भारी गिरावट के चलते गिरवी रखी गई प्रतिभूतियों की कीमत भी घट सकती है।
Edited By : Chetan Gour (भाषा)