देहरादन। उत्तराखंड प्रदेश सरकार ने पेपर लीक और नकल की बढ़ती घटनाओं के बीच सख्त नकल विरोधी कानून को लागू कर दिया है। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने जानकारी देते लिखा है कि हमारी सरकार की ओर से भेजे गए देश के सबसे सख्त 'नकल विरोधी कानून' के अध्यादेश को राज्यपाल ने मंजूरी दे दी है। नकल माफिया को उम्रकैद या 10 साल की जेल की सजा के साथ ही 10 करोड़ का जुर्माना लगाए जाने का भी प्रावधान है।
उत्तराखंड सरकार के इस नकल विरोधी कानून में बहुत ही सख्त प्रावधान किए गए हैं। इस कानून के तहत पकड़े जाने वाले नकल माफिया को उम्रकैद या 10 साल की जेल की सजा के साथ ही 10 करोड़ का जुर्माना लगाए जाने का भी प्रावधान है।
इसके अलावा इस कानून में नकल माफिया की संपत्ति कुर्क करने का भी प्रावधान है। दूसरी ओर शुक्रवार देर शाम सरकार की ओर से जारी बयान में कहा गया था कि बेरोजगार संघ की मांगों पर सहमति बन गई है। गौरतलब है कि उत्तराखंड में भर्ती परीक्षाओं में कथित घोटाले के खिलाफ प्रदेश के युवा बेरोजगार संघ के बैनर तले प्रदर्शन कर रहे हैं।
मुख्यमंत्री ने देश के सबसे सख्त 'नकल विरोधी कानून' के बारे में कहा कि संबंधित अध्यादेश को मैंने अपनी अनुमति के बाद राज्यपाल की मंजूरी के लिए भेज दिया है। इसके साथ ही उन्होंने लिखा कि हम नकल माफिया को प्रदेश के युवाओं के भविष्य के साथ बिलकुल भी खिलवाड़ नहीं करने देंगे।