मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान का जन्म कुंभ लग्न धनु राशि में हुआ। कुंभ लग्न व 12वें भाव का स्वामी शनि वर्तमान में उच्च का होकर भाग्य भाव से भ्रमण कर रहा है। वहीं जन्म के समय शनि एकादश यानी आय भाव में गुरु की राशि धनु में है।
राशि स्वामी पत्रिका में दशम भाव में मित्र मंगल की राशि में होकर अमला योग बना रहे हैं। यह कुलदीपक योग होता है। यही वजह है कि आप कुल का गौरव बढ़ाने वाले हुए।
पिछले दस वर्षों से शिवराज सिंह चौहान ने मध्यप्रदेश की कमान बखूबी थामे रखी है। मंगल दशमेश होकर चतुर्थ यानी माता-भूमि-भवन भाव के साथ है इस योग से जिस प्रदेश में जन्म हुआ वहां सफलता भरपूर मिलती है।
मंगल की सप्तम दृष्टि दशम भाव पर स्वदृष्टि पड़ रही है। यानी राजसुख प्रबल रहा वहीं गुरु के प्रभावी होने से राजसुख मिला( मुख्यमंत्री का पद)।
अभी राज्य भाव का स्वामी मंगल सप्तम भाव से गोचर भ्रमण कर रहा है। उसकी दशम भाव पर स्वदृष्टि पड़ रही है यानी इस बार भी आप सत्ता के करीब हो सकते हैं।
शिवराज सिंह की पत्रिका में गुरु का मिथुन से गोचरीय भ्रमण पंचम भाव से हो रहा है। उसकी एकादश भाव पर स्वदृष्टि व चन्द्र पर पूर्ण सप्तम दृष्टि गजकेसरी योग बना रही है। इस संयोग के आधार पर कहा जा सकता है कि शिवराज पुनः सत्तासीन हो जाए, तो कोई आश्चर्य की बात नहीं।
लग्न पर मंगल की शत्रु दृष्टि पड़ने से स्वास्थ्य पर विपरित प्रभाव पड़ सकता है। साथ ही पहले की अपेक्षा कुछ सीटें कम होने की शंका बलवती हैं। सावधान रहकर ही लाभ पाया जा सकता है। अभी मूंगा व पुखराज पहनना अतिशुभ फलदायी रहेगा ।