गजलें - रहीम रजा

Webdunia
इनायत क्या करेंगे
ND

वह जालीम है इनायत क्या करेंगे
भलाई की हिमायत क्या करेंगे
जो सूरज से हसद रखते हो दिल में
चिरागों की हिफाजत क्या करेंगे
अमीरे शहर से मनसब जो पाएँ
वह मुफलिस की हिमायत क्या करेंगे
अबस ताबीर में उलझे हुए हैं
वह ख्वाबों को हकीकत क्या करेंगे
रिया के मुक्तदी जब हो गए हम
रजा सच की ईमामत क्या करेंगे।
---------------------------
ना मस्जिद बनाता हूँ

ना मैं मस्जिद बनाता हूँ न मैं मंदिर बनाता हूँ
तकद्दुस को समझता हूँ मुकद्दस घर बनाता हूँ
समझता हूँ जमाने की निगाहों के तग़य्युर को
मुसव्विर हूँ मैं अपने वक्त का मंजर बनाता हूँ।

----------------------
सर होता है हो जाए

सर होता है हो जाए हवा कुछ नहीं कहते
हम अपनी हकीकत के सिवा कुछ नहीं कहते
जब राह में‍ बछती हो बबुलें तो तड़प कर
ऊफ मेरे खुदा और सिवा कुछ नहीं कह‍ते
बातील की खुशामद के लिए जश्न शब व रोज
हक डूब मरा है के तिरा कुछ नहीं कहते
कीमत तुम्हें इक रोज चुकानी है के तुम भी
जालीम को समझते हो बुरा कुछ नहीं कहते
पत्थर पे लुटाते हो अकीदत के गु‍लिस्ताँ
है धूल में अलमास पड़ा कुछ नहीं कह‍ते
मौसम की तरह तुम भी बदल जाते हो अक्सर
कहती है हवा हम तो रजा कुछ नहीं कहते।

-----------------------

Show comments

क्या दर्शाती है ‘लापता लेडीज’ की ऑस्कर में एंट्री, जानिए क्या है फिल्म की सबसे बड़ी USP

ऑयली बालों के चिपचिपेपन से हैं परेशान? जानें इस Festive Season में घर बैठे कैसे पाएं Oil Free Hairs

नवरात्रि में चेहरे की चमक को बनाए रखेंगी ये 5 गजब की Festive Skincare Tips

नहीं सूझ रहा बेटे के लिए बढ़िया सा नाम, तो ये हैं कुछ नए और यूनीक आइडिया

Navratri Food 2024: नवरात्रि में फलाहार के 5 खास आइटम

और समृद्ध होगा फलों के राजा आम का कुनबा

Festive Season पर कुछ यूं करें अपने nails को स्टाइल, अपनाएं ये Royal Look वाले डिजाइन

घर में मजूद इस एक चीज़ से त्योहारों के मौके पर पाएं दमकता निखार

पार्टनर से मैसेज पर भूलकर भी न करें ये 5 बातें, रिश्ते में घुल सकती है कड़वाहट

क्या है कांजीवरम साड़ी की कहानी, दक्षिण भारत की बुनाई में घुलती सोने-चांदी की चमक