Fact Check: क्या दिलीप कुमार के आखिरी समय का है यह वायरल VIDEO? जानिए इसकी सच्चाई

Webdunia
शुक्रवार, 9 जुलाई 2021 (12:59 IST)
बॉलीवुड के मशहूर अभिनेता दिलीप कुमार का बीते बुधवार यानि 7 जुलाई को 98 की उम्र में निधन हो गया। इसके बाद से ही उनका एक वीडियो तेजी से वायरल होने लगा। वीडियो में देखा जा सकता है कि दिलीप कुमार अस्पताल के बेड पर हैं और उनकी पत्नी शायरा बानो उन्हें खाना खिला रही हैं। वीडियो शेयर कर दावा किया जा रहा है कि ये दिलीप कुमार के निधन से पहले का आखिरी वीडियो है।

देखें वीडियो-



क्या है सच-

गूगल क्रोम के InVID टूल का इस्तेमाल करते हुए हमने वायरल वीडियो के कीफ्रेम्स निकाले और गूगल पर रिवर्स सर्च किया। सर्च रिजल्ट में हमें ‘द इंडियन एक्सप्रेस’ और ‘न्यूज़ 18’ की साल 2013 की रिपोर्ट मिलीं, जिसमें वायरल वीडियो का स्क्रीनशॉट लगा था।

इन रिपोर्ट्स के मुताबिक, वीडियो मुंबई के लीलावती अस्पताल का है। दिलीप कुमार को बेचैनी की शिकायत के बाद 15 सितंबर 2013 को वहां भर्ती कराया गया था।

22 सितंबर 2013 को दिलीप कुमार के आधिकारिक ट्विटर हैंडल से भी ये वीडियो शेयर किया गया था। वीडियो शेयर करते हुए उन्होंने लिखा था, “आपकी प्रार्थनाओं और प्यार के लिए धन्यवाद। अस्पताल में आराम कर रहे हैं। कल का वीडियो।”

वेबदुनिया की पड़ताल में वायरल वीडियो के साथ किया जा रहा दावा गलत निकला। ये दिलीप कुमार का आखिरी वीडियो नहीं है, बल्कि साल 2013 का वीडियो है।

सम्बंधित जानकारी

Show comments

कौन थे रजाकार, कैसे सरदार पटेल ने भैरनपल्ली नरसंहार के बाद Operation polo से किया हैदराबाद को भारत में शामिल?

कर्नाटक के दक्षिण कन्नड़ में बंजारुमाले गांव में हुआ 100 प्रतिशत मतदान

धीरेंद्र शास्‍त्री के भाई ने फिर किया हंगामा, टोल कर्मचारियों को पीटा

प्रवेश द्वार पर बम है, जयपुर हवाई अड्‍डे को उड़ाने की धमकी

दिल्ली में देशी Spider Man और उसकी Girlfriend का पुलिस ने काटा चालान, बाइक पर झाड़ रहा था होशियारी

बहू को हुआ सास से प्‍यार, पति के साथ नहीं सोने देती है, सास हुई परेशान

UP के डिप्टी सीएम मौर्य बोले, एक और पाकिस्तान बनाने का जहर बो रही है कांग्रेस

धनंजय सिंह को मिली इलाहाबाद हाईकोर्ट से जमानत, नहीं लड़ सकेंगे चुनाव

कौन है जेल से 20 दिन की पैरोल पर बाहर आया फलाहारी बाबा, क्‍या था मामला?

कांग्रेस का दावा, 2जी स्पेक्ट्रम मामले में दिखा भाजपा का पाखंड

अगला लेख